EPF: 35 साल उम्र, 15 हजार बेसिक सैलरी; रिटायरमेंट पर कितना मिलेगा PF का पैसा, समझें कैलकुलेशन
EPF: प्राइवेट सेक्टर के कर्मचारियों के लिए यह एक रिटायरमेंट बेनेफिट स्कीम है. इसमें कर्मचारी और कंपनी दोनों का कंट्रीब्यूशन होता है.
(Representational)
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EPF Calculation: इम्प्लॉइड प्रोविडेंट फंड (EPF) प्राइवेट सेक्टर के सैलरीड कर्मचारियों के लिए एक रिटायरमेंट बेनेफिट स्कीम है. इस फंड को कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) मैनेज करता है. EPF अकाउंट में इम्प्लॉई और एम्प्लॉयर दोनों की तरफ से कंट्रीब्यूशन होता है. सरकार की ओर से हर साल EPF की ब्याज दरें तय की जाती हैं. अभी 8.5 फीसदी सालाना ब्याज मिल रहा है. EPF एक ऐसा अकाउंट है, जिसमें रिटायरमेंट तक धीरे-धीरे बड़ा कॉपर्स बन जाता है. इसमें ब्याज की कम्पाउंडिंग का फायदा मिलता है. अगर रिटायरमेंट की उम्र तक इस अकाउंट में कंट्रीब्यूशन बना रहे और हर साल सैलरी में ग्रोथ होती रहे, तो एक अच्छा खास कॉर्पस बन सकता है.
15 हजार बेसिक सैलरी पर कितना रिटायरमेंट फंड
मान लीजिए आपकी बेसिक सैलरी और डियरनेस अलाउंस 15,000 रुपये है. आपकी उम्र 35 साल है, तो रिटायरमेंट तक यानी 58 साल की उम्र तक आपके पास करीब 56.41 लाख रुपये रिटायरमेंट फंड तैयार हो सकता है. ईपीएफ स्कीम में मैक्सिमम 58 साल तक ही कंट्रीब्यूशन कर सकते हैं.
EPF कैलकुलेशन समझिए
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बेसिक सैलरी+DA= 15,000 रुपये
मौजूदा उम्र= 35 साल
रिटायरमेंट उम्र= 58 साल
इम्प्लॉई मंथली कंट्रीब्यूशन= 12 फीसदी
एम्प्लॉयर मंथली कंट्रीब्यूशन= 3.67 फीसदी
EPF पर ब्याज दर= 8.5 फीसदी सालाना
सालाना सैलरी ग्रोथ= 10 फीसदी
58 साल की उम्र में मैच्योरिटी फंड= 56.42 लाख (इम्प्लॉई कंट्रीब्यूशन 19.11 लाख और एम्प्लॉयर कंट्रीब्यूशन 5.85 लाख रुपये रहा. कुल कंट्रीब्यूशन 24.96 लाख रुपये रहा.)
(नोट: कंट्रीब्यूशन के पूरे साल में सालाना ब्याज दर 8.5 फीसदी और सालाना सैलरी ग्रोथ 10 फीसदी ली गई है.)
EPF में एम्प्लॉयर का 3.67% होता है डिपॉजिट
ईपीएफ अकाउंट में इम्प्लॉई की बेसिक सैलरी और डियरनेस अलाउंस (महंगाई भत्ते) का 12 फीसदी जमा होता है. लेकिन, एम्प्लॉयर की 12 फीसदी की रकम दो हिस्सों में जमा होती है. एम्प्लॉयर के 12 फीसदी कंट्रीब्यूशन में से 8.33 फीसदी रकम इम्प्लॉई पेंशन अकाउंट में जमा होती है और शेष 3.67 फीसदी रकम ही ईपीएफ अकाउंट में जाती है.
15,000 सैलरी से समझें मंथली EPF कंट्रीब्यूशन
इम्प्लॉई बेसिक सैलरी + डियरनेस अलाउंस= 15,000 रुपये
EPF में इम्प्लॉई कंट्रीब्यूशन= 15,000 रु का 12 फीसदी= 1,800 रुपये
EPF में एम्प्लॉयर का कंट्रीब्यूशन= 15,000 रु का 3.67 फीसदी= 550 रुपये
पेंशन फंड (EPS) में एम्प्लॉयर का कंट्रीब्यूशन= 15,000 रु का 8.33 फीसदी = 1249 रुपये
इस तरह देखें तो पहले साल 15,000 रुपये बेसिक सैलरी वाले इम्प्लॉई के EPF अकाउंट में कुल मंथली कंट्रीब्यूशन 2350 रुपये (1800+550 रुपये) होगा. इसके बाद सालाना आधार पर सैलरी में 10 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ उसी अनुपात में बेसिक और डियरनेस अलाउंस में इजाफा होगा. जिसके साथ-साथ ईपीएफ कंट्रीब्यूशन बढ़ता जाएगा. जिन इम्प्लॉई की बेसिक सैलरी 15,000 रुपये से कम है उनके लिए इस स्कीम से जुड़ना अनिवार्य है.
(नोट: EPF का यह कैलकुलेशन तय कंडीशंस के आधार पर है. सैलरी, कंट्रीब्यूशन अवधि, ब्याज दर और सैलरी ग्रोथ में अंतर पर आंकड़े बदल सकते हैं.)
03:08 PM IST