Budget 2021: Health बजट बढ़ा सकती है सरकार, मेडिकल उपकरणों पर घट सकता है टैक्स
Budget 2021: कोरोना वायरस महामारी ने भारतीय हेल्थकेयर सेक्टर में मेडिकल डिवाइस (medical device manufacturers) की जरूरत को काफी बढ़ा दिया है. ऐसे में देश में ही मेडिकल उपकरण बनाने को सरकार की तरफ से प्रोत्साहन मिल सकता है.
मेडिकल उपकरण के तौर पर बेहद जरूरी डिवाइस वेंटिलेटर के घरेलू मैनुफैक्चरिंग को लेकर सरकार ने काफी अच्छी पहल की है. (रॉयटर्स)
मेडिकल उपकरण के तौर पर बेहद जरूरी डिवाइस वेंटिलेटर के घरेलू मैनुफैक्चरिंग को लेकर सरकार ने काफी अच्छी पहल की है. (रॉयटर्स)
Budget 2021: कोरोना काल में हेल्थ केयर सेक्टर पर फोकस करते हुए भारत को मेडिकल उपकरणों के मामले में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बड़ी राहत की अनाउंसमेंट कर सकती है. कोरोना वायरस महामारी ने भारतीय हेल्थकेयर सेक्टर में मेडिकल डिवाइस (medical device manufacturers) की जरूरत को काफी बढ़ा दिया है. ऐसे में देश में ही मेडिकल उपकरण बनाने को सरकार की तरफ से प्रोत्साहन मिल सकता है. इसमें उपकरणों पर लगने वाले टैक्स में राहत और आसान लोन जैसी जरूरतों को लेकर बड़ी घोषणा हो सकती हैं.
टेलीमेडिसिन ने निभाई बड़ी भूमिका (Telemedicine played a big role)
आगामी 1 फरवरी को बजट 2021 में, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) कोरोना वायरस महामारी के दौरान टेलीमेडिसिन (Telemedicine) महत्वपूर्ण भूमिका पर फोकस करते हुए मेडिकल उपकरण उद्योग (Medical device industry) की फंडिंग को और बढ़ा सकती है. जानकारों का कहना है कि हेल्थ केयर इन्फ्रास्ट्रक्चर में एक व्यवस्थित और व्यापक सुधार की बेहद आवश्यकता है. इंडस्ट्री का मानना है कि इस सेक्टर में फिलहाल जो टैक्स का प्रावधान या रेगुलेशन है, वह टेलीमेडिसिन, होम हेल्थकेयर और डायग्नोस्टिक टेस्ट की लागत को कवर नहीं करता है. इसमें कई तरह की लागत कंपनियों की जेब से आती हैं.
वेंटिलेटर को लेकर सरकार ने पहल की है (Government has taken initiative regarding ventilator)
मेडिकल उपकरण के तौर पर बेहद जरूरी डिवाइस वेंटिलेटर (ventilator) के घरेलू मैनुफैक्चरिंग को लेकर सरकार ने काफी अच्छी पहल की है. कोरोनाकाल में भारत में वेंटिलेटर्स की मैनुफैक्चरिंग में काफी तेजी आई है. बजट में सरकार की तरफ से उम्मीद की जा रही है कि मेडिकल डिवाइस बनाने वाली कंपनियों को आसानी से लोन मिलने और लंबे समय की मेच्योरिटी की सुविधा की घोषणा हो सकती है.
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ज्यादातर जरूरतों के लिए भारत करता रहा है इम्पोर्ट (India has been importing for most needs)
एक रिपोर्ट के मुताबिक, भारत पिछले साल की शुरुआत तक कुल मेडिकल उपकरणों की जरूरत का करीब 70 से 80 प्रतिशत तक का इम्पोर्ट करता था. तब भारत की यह इंडस्ट्री 7 अरब डॉलर के करीब की थी. हालांकि सरकार के मेक इन इंडिया मुहिम के तहत इस इंडस्ट्री में अब काफी सुधार देखने को मिल रहा है. जानकारों का कहना है कि इस बजट में मेडिकल डिवाइस पर लगने वाले जीएसटी को लेकर कुछ राहत की उम्मीद की जा सकती है.
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02:27 PM IST