सरकार ने लॉन्च किया Saksham मोबाइल ऐप, फाइनेंशियस स्कीमों के बारे में मिलेगी जानकारी
भारत सरकार (Indian government) के रूलर डेवलपमेंट मंत्रालय (Ministry of Ruler Development) की ओर से सोमवार को “Saksham” मोबाइल ऐप (Mobile app) लॉन्च किया गया है. इस ऐप को मंत्रालय के सचिव नागेंद्र नाथ सिन्हा ने लॉन्च किया.
सरकार ने लांच किया ये मोबाइल ऐप, सेल्फ हेल्प समूहों को मिलेगी मदद (फाइल फोटो)
सरकार ने लांच किया ये मोबाइल ऐप, सेल्फ हेल्प समूहों को मिलेगी मदद (फाइल फोटो)
भारत सरकार (Indian government) के रूलर डेवलपमेंट मंत्रालय (Ministry of Ruler Development) की ओर से सोमवार को “Saksham” मोबाइल ऐप (Mobile app) लॉन्च किया गया है. इस ऐप को मंत्रालय के सचिव नागेंद्र नाथ सिन्हा ने लॉन्च किया. इस मोबाइल ऐप के जरिए स्वयं सहायता समूहों (Self help groups) को वीडियो कॉन्फेंसिंग (Video conferencing) के जरिए बैंकों से जोड़ने और वित्तीय जागरूकता (Financial awareness) में मदद की जाएगी.
ऐप से मिलेगी मदद
इस ऐप को शुरू करने का उद्देश्य ग्रामीण इलाकों में वित्तीय जागरूकता के साथ ही बैंकों के जरिए ज्यादा से ज्यादा स्वयं सहायता समूहों को जोड़ना है ताकि उन्हें आत्म निर्भर बनाया जा सके.
बनाए जाएंगे 10 हजार Farmer Producer Organizations
केन्द्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्री (Union Minister of Agriculture and Farmers Welfare) नरेंद्र सिंह तोमर के मुताबिक देश में बनाए जा रहे 10 हजार नए कृषक उत्पादक संगठनों (Farmer Producer Organizations) के बनने से किसान समूहों को बेहतर सुविधाएं मिल सकेंगी. उन्होंने कहा कि देश के 60 फीसदी किसान छोटे और सीमांत हैं, जो इन एफपीओ के जरिए ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाएंगे.
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Secretary, RD @Nagendra_NSinha today launched “Saksham” a Mobile App on #SHG Bank Linkage & Financial Inclusion via VC, which helps to catalyse the delivery of financial services through #financialliteracy. @nstomar @SadhviNiranjan @PIB_India @mygovindia @PMOIndia @MIB_India pic.twitter.com/BPIJSFT4Ct
— Ministry of Rural Development, Government of India (@MoRD_GOI) July 6, 2020
सरकार का है ये प्लान
कृषि मंत्री के मुताबिक शुरुआत में एफपीओ में सदस्यों की कम से कम संख्या तराई क्षेत्र में 300 और उत्तर-पूर्व व पहाड़ी क्षेत्रों में 100 रहेगी. छोटे, सीमांत और भूमिहीन किसानों के लिए गठित होने वाले एफपीओ के माध्यम से विभिन्न चुनौतियों से प्रभावी ढंग से निपटा जा सकेगा, साथ ही वे ज्यादा मजबूत होंगे. संगठनों की गतिविधियों को इस तरह से मैनेजमेंट किया जाएगा ताकि सदस्यों को तकनीक जानकारियां, फाइनेंस और उपज के लिए अच्छा बाजार और बेहतर कीमत मिल सके. गौरतलब है कि प्रधानमंत्री ने 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने का लक्ष्य रखा है. एफपीओ से उत्पादन लागत में कमी और बेहतर मार्केटिंग पर जोर दिया जाएगा.
05:05 PM IST