BSNL-MTNL पर 10 हजार करोड़ रुपये का है ये बकाया, ब्याज-जुर्माना और जुर्माने पर ब्याज शामिल
BSNL and MTNL AGR Dues: दूरसंचार विभाग के आकलन के मुताबिक, वित्त वर्ष 2016-17 तक बीएसएनएल के ऊपर एजीआर (Adjusted Gross Income) बकाया 5,835 करोड़ रुपये और एमटीएनएल के मामले में यह करीब 4,352 करोड़ रुपये था.
बीएसएनएल और एमटीएनएल ने एजीआर बकाया मद में कोई राशि भुगतान नहीं किए हैं.
बीएसएनएल और एमटीएनएल ने एजीआर बकाया मद में कोई राशि भुगतान नहीं किए हैं.
BSNL and MTNL AGR Dues: सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनियों बीएसएनएल (BSNL) और एमटीएनएल (MTNL) ने समायोजित सकल राजस्व (AGR) मद में 10,000 करोड़ रुपये बकाये का भुगतान अबतक नहीं किये हैं. आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी. पीटीआई की खबर के मुताबिक, दूरसंचार विभाग के आकलन के मुताबिक, वित्त वर्ष 2016-17 तक बीएसएनएल के ऊपर एजीआर (Adjusted Gross Income) बकाया 5,835 करोड़ रुपये और एमटीएनएल के मामले में यह करीब 4,352 करोड़ रुपये था. इसमें ब्याज, जुर्माना और जुर्माने पर ब्याज शामिल है.
एजीआर मद में कोई राशि भुगतान नहीं (No amount paid in AGR item)
खबर के मुताबिक, आधिकारिक सूत्रों का कहना है कि बीएसएनएल और एमटीएनएल ने एजीआर बकाया मद में कोई राशि भुगतान नहीं किए हैं. सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल दूरसंचार कंपनियों को निर्देश दिया था कि उन्हें 31 मार्च, 2021 तक दूरसंचार विभाग की मांग के मुताबिक, कुल बकाया में से 10 प्रतिशत का पेमेंट 31 मार्च, 2021 तक करना होगा.
किसकी कितनी देनदारी (telecom companies AGR dues)
बीएसएनएल और एमटीएनएल सुप्रीम कोर्ट में एजीआर मामले में पक्ष नहीं थे. लेकिन दूरसंचार विभाग के एजीआर बकाया मामले में कंपनियों की सूची में सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनियों के नाम थे. सरकार के आकलन के अनुसार भारती एयरटेल पर कुल एजीआर देनदारी 43,980 करोड़ रुपये, वोडाफोन आइडिया पर 58,254 करोड़ रुपये, टाटा समूह पर 16,798 करोड़ रुपये, क्वाड्रेंट टेलीवेंचर्स पर 189.22 करोड़ रुपये, रिलायंस जियो पर 195 करोड़ रुपये, एयरसेल पर 12,389 करोड़ रुपये, रिलायंस कम्युनिकेशंस (सिस्तेमा श्याम समेत) पर 25,194 करोड़ रुपये और वीडियोकॉन टेलीकॉम पर 1,376 करोड़ रुपये बकाये थे.
TRENDING NOW
इन कंपनियों का भी था बकाया (more companies were dues)
भारत में अपना कारोबार बंद करने वाली लूप टेलीकॉम, एतिसालात डीबी और एस टेल पर संयुक्त रूप से 604 करोड़ रुपये बकाये थे. आधिकारिक आंकड़े के मुताबिक भारती एयरटेल ने कुल मांग में से 18,004 करोड़ रुपये, वोडाफोन आइंडिया ने 7,854.37 करोड़ रुपये, टाटा ग्रुप ने 4,197.37 करोड़ रुपये, क्वाड्रेंट टेलीवेंचर्स ने 19.73 करोड़ रुपये, रिलायंस जियो 195.18 करोड़ रुपये, ह्यूजेस कम्युनिकेशंस ने 62.9 करोड़ रुपये, आर कॉम ने 4.69 करोड़ रुपये और एतिसालात डीबी ने 8.4 करोड़ रुपये दिये हैं.
ज़ी बिज़नेस LIVE TV यहां देखें
Zee Business App: पाएं बिजनेस, शेयर बाजार, पर्सनल फाइनेंस, इकोनॉमी और ट्रेडिंग न्यूज, देश-दुनिया की खबरें, देखें लाइव न्यूज़. अभी डाउनलोड करें ज़ी बिजनेस ऐप.
11:42 PM IST