Success Story: इस Startup ने बनाई दुनिया की पहली मिलेट आइसक्रीम, G20 में दुनियाभर के लीडर्स ने चखा स्वाद, मिला 25 लाख का ग्रांट
कई स्टार्टअप (Startup) भी हैं जो मिलेट्स को अपना बिजनेस (Business) बना चुके हैं. ऐसा ही एक स्टार्टअप है कृषिका (Krushika), जो मिलेट्स की आइसक्रीम (Millet IceCream) बनाता है. जी हां, आपने बिल्कुल सही पढ़ा है, मिलेट्स की आइसक्रीम.
आजकल हमारा खान-पान कुछ ऐसा हो चुका है कि इससे लोगों को तमाम तरह की दिक्कतें होने लगी हैं. यही वजह है कि बहुत सारे लोग अब मिलेट्स पर शिफ्ट हो रहे हैं. सरकार भी मिलेट्स को काफी बढ़ावा दे रही है. इतना ही नहीं, कई स्टार्टअप (Startup) भी हैं जो मिलेट्स को अपना बिजनेस (Business) बना चुके हैं. ऐसा ही एक स्टार्टअप है कृषिका (Krushika), जो मिलेट्स की आइसक्रीम (Millet IceCream) बनाता है. जी हां, आपने बिल्कुल सही पढ़ा है, मिलेट्स की आइसक्रीम.
दुनिया भर के लीडर्स चख चुके हैं स्वाद
हाल ही में दिल्ली में हुए जी20 सम्मेलन में दुनिया भर के लीडर्स पहुंचे थे. इस सम्मेलन में कृषिका को भी अपना स्टॉल लगाने का मौका मिला था. वहां कृषिका की आइसक्रीम को दुनिया भर के लीडर्स ने चखा और तारीफ भी की. तारीफों की पुल बांधने की सबसे बड़ी वजह है इसका मिलेट्स का होना. आइसक्रीम तो तमाम तरह की मिलती हैं, लेकिन मिलेट्स से टेस्टी आइसक्रीम बनाना एक इनोवेटिव आइडिया है, जिसकी सभी ने तारीफ की.
आईआईएम काशीपुर से मिला ₹25 लाख का ग्रांट
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हाल ही में उत्तराखंड के काशीपुर आईआईएम में एक स्टार्टअप मेला लगा था, जिसमें देश भर के कई स्टार्टअप पहुंचे थे. बता दें कि फाउंडेशन फॉर इनोवेशन & आंत्रप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट यानी फीड (FIED) और आईआईएम काशीपुर हर साल Uttishtha नाम से स्टार्टअप मेला लगाते हैं. इसी मेले में मिलेट्स का स्टार्टअप Krushika भी पहुंचा था और वहां उसे आईआईएम काशीपुर की तरफ से 25 लाख रुपये का ग्रांट मिला है. बता दें कि ग्रांट का मतलब ये है कि स्टार्टअप को यह पैसे वापस नहीं चुकाने हैं. इन पैसों का इस्तेमाल यह स्टार्टअप अपने बिजनेस का विस्तार करने में करेगा.
कृषिका की शुरुआत अप्रैल 2022 में मध्य प्रदेश में रहने वाली प्रतिभा तिवारी ने की है. उनका ये प्रोडक्ट अभी दक्षिणी दिल्ली, हैदराबाद के कुछ मॉल, भोपाल और मुंबई में उपबल्ध है. अभी तक कंपनी अपने इस प्रोडक्ट को ऑनलाइन नहीं बेच रही है. इस बिजनेस को शुरू करने के लिए प्रतिभा ने 10 लाख रुपये का निवेश किया है, जिसमें मशीनों की लागत भी शामिल है. इस स्टार्टअप का करीब 350 किसानों के साथ बायबैक कॉन्ट्रैक्ट है. इसके तहत यह स्टार्टअप किसानों को बीज, टेक्नोलॉजी और जरूरी मदद मुहैया कराता है और उनसे प्रोडक्ट खरीदता है.
कृषिका के तहत अभी करीब 28 प्रोडक्ट हैं, जो रेडू टू ईट और रेडी टू कुक की रेंज में हैं. ये सारे प्रोडक्ट पूरी तरह से मिलेट से बने हैं, इनमें गेहूं का आटा या मैदा बिल्कुल नहीं मिला है. इनके पास मिलेट के बिस्कुट हैं, इडली-डोसा और उपमा मिक्स भी हैं. कंपनी का सबसे ज्यादा फोकस मिलेट आइसक्रीम पर है. इसके लिए कंपनी ने 3-4 मिलेट को मिक्स कर के पहले पाउडर बनाया और फिर उससे एक प्रीमिक्स तैयार किया. इसे सॉफ्टी वेंडिंग मशीन में डाला जाता है और फिर उसे आइसक्रीम की तरह लोगों को दिया जाता है. बता दें कि अभी इस स्टार्टअप के पास वनीला, मैंगो और चॉकलेट, तीन तरह के फ्लेवर की आइसक्रीम हैं. इसमें कोई प्रिजर्वेटिव नहीं डाला जाता है, लेकिन शुगर डालते हैं, जो एक प्रिजर्वेटिव की तरह ही काम करता है. आने वाले दिनों में शुगर को स्टीविया से रिप्लेस करने की तैयारी चल रही है.
कहां से आया मिलेट आइसक्रीम का आइडिया?
प्रतिभा पिछले कई सालों से मिलेट प्रोडक्ट के बिजनेस में हैं. ऐसे में मिलेट के तमाम फायदों के बारे में वह जानती हैं. जब सरकार ने इसे प्रमोट करना शुरू किया तो बहुत सारे लोग मिलेट के फायदों को समझते हुए इसकी ओर आकर्षित होने लगे. हालांकि, प्रतिभा ने देखा कि बच्चे और युवा मिलेट्स खाने से हिचक रहे थे. 40-50 साल या उससे अधिक उम्र के लोगों को तो स्वास्थ्य के फायदे गिनाकर मिलेट खिलाए जा सकते हैं, लेकिन बच्चे और युवा स्वास्थ्य से ज्यादा स्वाद को तवज्जो देते हैं.
ऐसे में प्रतिभा को आइडिया कि क्यों ना मिलेट्स की आइसक्रीम बनाई जाए, जो बच्चों और युवाओं को भी पसंद आए. प्रतिभा ने यह इनोवेटिव प्रोडक्ट इसलिए भी बनाया, ताकि लोग कम से कम इसे टेस्ट तो करें और फिर स्वाद अच्छा लगेगा तो बार-बार खाएंगे. इस तरह जो लोग मिलेट्स का नाम सुनने भर से नाक-मुंह सिकोड़ने लगते हैं, वह भी आइसक्रीम के जरिए मिलेट्स को खा सकेंगे और उसके फायदे हासिल कर पाएंगे. प्रतिभा बताती हैं कि उन्हें मिलेट आइसक्रीम बनाने में करीब 6 महीने का वक्त लगा.
सिर्फ आइसक्रीम ही नहीं, बल्कि उन्होंने और भी कई मिलेट प्रोडक्ट बनाए हैं. प्रतिभा बताती हैं कि ज्वार, बाजरा, रागी समेत मध्य प्रदेश के नेटिव मिलेट कोदो, कुटकी का इस्तेमाल करते हुए उन्होंने कई प्रोडक्ट बनाए हैं. प्रतिभा ने देखा कि लोगों को ये नहीं पता कि मिलेट्स को कैसे खाया जाता है. ऐसे में उन्होंने अपने प्रोडक्ट्स को इनोवेटिव बनाते हुए कुछ अलग करने की सोची. उन्होंने सोचा कि हर रोज लोग सुबह चाय के साथ दो बिस्कुट तो खाते ही हैं, क्यों ना कि ये बिस्कुट मैदे के ना होकर मिलेट के हों. इसके बाद प्रतिभा ने मिलेट कुकीज बनाने का काम शुरू किया. उसमें शुगर की जगह गुड़ के पाउडर (जैगरी पाउडर) का इस्तेमाल किया. उन्होंने अपने सारे प्रोडक्ट में इस्तेमाल होने वाली मिलेट्स भी ऑर्गेनिक इस्तेमाल किए, जिससे न्यूट्रिशन वैल्यू और ज्यादा बढ़ गई.
Hon'ble Union Minister, Shri @nstomar
— Agriculture INDIA (@AgriGoI) March 19, 2023
along with Hon'ble State Minister, Shri @KailashBaytu visited the Buyer Seller Meet Exhibition and tasted the World's First Millets-based Ice Cream at the Global Millets (Shree Anna) Conference on 19th March 2023.#ShreeAnna@Sampraveen0406 pic.twitter.com/deJcsGBYQn
इससे पहले क्या था बिजनेस?
प्रतिभा पहले एक टीचर थीं, लेकिन अपनी नौकरी से वह खुश नहीं थी. वह पर्यावरण के लिए कुछ करना चाहती थीं. प्रतिभा एक किसान परिवार से आती हैं, तो उन्होंने खेती से जुड़ा ही कुछ करने की सोची. ऐसे में करीब 9 साल पहले प्रतिभा ने भूमिशा ऑर्गेनिक्स नाम के स्टार्टअप की शुरुआत की, जो ऑर्गेनिक प्रोडक्ट बेचने का बिजनेस करता था. उन्होंने किसानों के साथ मिलकर अपने ब्रांड को डेवलप किया. वह बताती हैं कि आज करीब 1500 ऐसे किसान हैं, जो भूमिशा के साथ जुड़े हुए हैं. बता दें कि भूमिशा ऑर्गेनिक्स प्रतिभा के मिलेट आइसक्रीम वाले स्टार्टअप कृषिका की पैरेंट कंपनी है.
भविष्य का क्या है प्लान?
प्रतिभा बताती हैं कि आने वाले दिनों में वह अपने सारे प्रोडक्ट्स की क्वालिटी को बढ़ाने की दिशा में काम करेंगी. साथ ही आइसक्रीम और कुकीज पर फोकस बढ़ाया जाएगा और इनके विस्तार पर ध्यान दिया जाएगा. इनका इस्तेमाल करते हुए वह बच्चों के लिए प्रोटीन और कैल्शियम आधारित प्रोडक्ट बनाए जाएंगे. साथ ही प्रेगनेंट महिलाओं के लिए भी कैल्शियम और प्रोटीन के प्रोडक्ट्स बनाने हैं, जैसे रागी कुकीज और कुछ तरह के प्रीमिक्स. प्रतिभा एक यूट्यूब चैनल भी शुरू करना चाहती हैं, जिसके जरिए लोगों को मिलेट्स खाने के तरीके के बारे में भी बताया जा सके. इससे वह लोगों को बताएंगी कि किसे कौन सा मिलेट कब, कैसे और कितना खाना चाहिए, क्योंकि गलत तरीके से मिलेट्स खाना नुकसानदायक हो सकता है.
01:59 PM IST