प्लास्टिक के इस्तेमाल पर खानी पड़ सकती है जेल की हवा, लगेगा 1 लाख का जुर्माना
चंडीगढ़ प्रशासन ने Single Use Plastic बैन करने के लिए नोटिफिकेशन जारी किया है. इस नोटिफिकेशन के तहत शहर में किसी भी तरह के सिंगल यूज प्लास्टिक और थर्मोकोल के इस्तेमाल पर पूरी तरह से पाबंदी है.
चंडीगढ़ में सिंगल यूज़ प्लास्टिक और थर्मोकोल का इस्तेमाल करने से जेल की हवा तक खानी पड़ सकती है. चंडीगढ़ में सिंगल यूज प्लास्टिक बैन करने के लिए नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया है.
चंडीगढ़ में सिंगल यूज़ प्लास्टिक और थर्मोकोल का इस्तेमाल करने से जेल की हवा तक खानी पड़ सकती है. चंडीगढ़ में सिंगल यूज प्लास्टिक बैन करने के लिए नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया है.
सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) के इस्तेमाल के खिलाफ 2 अक्टूबर से पूरे देश में बड़े पैमाने पर अभियान शुरू किया गया है. प्लास्टिक (Plastic) के इस्तेमाल से होने वाले नुकसान के बारे में लोगों को जागरुक किया जा रहा है. लोगों में पॉलीथीन थैली (polythene bags) के स्थान पर कपड़े या कागज की थैली के इस्तेमाल को लेकर जागरुकता फैलाई जा रही है.
उधर, स्थानीय प्रशासन द्वारा सिंगल यूज प्लास्टिक के इस्तेमाल के खिलाफ कड़े नियम बनाए गए हैं. जो दुकानदार पॉलीथीन थैली (polythene bags) का इस्तेमाल कर रहे हैं उनका चालान काटा जा रहा है. अभी हाल ही में दिल्ली के नांगलोई इलाके में एक दुकानदार का 2 लाख रुपये का चालान काटा गया था.
चंडीगढ़ (Chandigarh) प्रशासन ने सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) बैन करने के लिए नोटिफिकेशन जारी किया है. इस नोटिफिकेशन के तहत शहर में किसी भी तरह के सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) और थर्मोकोल (thermocol) के इस्तेमाल पर पूरी तरह से पाबंदी है. पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम- 1986 की धारा 15 के तहत, जो कोई इन आदेशों का पालन नहीं करता है, उसे अधिकतम 5 साल की सजा या 1 लाख रुपये का जुर्माना लगाया जा सकता है. और खास मामलों में दोनों (कारावास और जुर्माना) एकसाथ लगाए जा सकते है.
चंडीगढ़ पर्यावरण विभाग (Environment Department) के निदेशक देवेंद्र दलाई ने बताया कि एनजीटी (NGT) के आदेशों के बावजू़द भी लोग प्लास्टिक का इस्तेमाल कर रहे हैं. कई लोगों पर 5000 रुपये तक का जुर्माना भी लगाया गया है, फिर भी लोग सिंगल यूज प्लास्टिक (Single Use Plastic) का इस्तेमाल कर रहे हैं, इसलिए सख्ती दिखाई जा रही है.
दुकानदार का कटेगा बिजली-पानी
चंडीगढ़ पर्यावरण विभाग के मुताबिक, यह सख्ती सिर्फ आम लोगों पर नहीं होगी बल्कि दुकानदारों और शोरूम संचालकों पर भी होगी. जिन दुकानों और शोरूम पर बैन के बावजूद पॉलीथीन, प्लास्टिक और थर्मोकोल का इस्तेमाल होते मिलेगा, उनके बिजली और पानी के कनेक्शन काटे जाएंगे. दुकान-शोरूम सील करने का प्रावधान भी किया गया है. उन्होंने कहा प्लास्टिक, थर्माकोल, स्टायरोफोम वस्तुओं का दुकानदार, विक्रेता, होल सैलर विक्रेता, व्यापारी, फेरीवाला या रेहड़ीवाला, कोई भी व्यक्ति निर्माण, स्टोरेज, आयात, बिक्री, आपूर्ति या उपयोग नहीं कर सकता.
चंडीगढ़ प्रशासन द्वारा सिंगल यूज़ प्लास्टिक और थर्मोकोल बैन को लेकर लोगों को जागरूक करने के लिए प्रोटोकॉल गाइडबुक भी बांटी जा रही है, ताकि लोगों को मालूम हो कि प्लास्टिक की किस चीज के इस्तेमाल पर बैन लग गया है और किस चीज पर 3 महीने बाद बैन लगेगा.
इनके इस्तेमाल पर बैन
- सिंगल यूज प्लास्टिक कटलरी (प्लेट, कप, गिलास, बाउल, फोर्क, चाकू, चम्मच, स्ट्रॉ)
- थर्मोकॉल/स्टेयरोफाम कटलरी (प्लेट, कप, गिलास, बोतल वगैरह)
- सिंगल यूज प्लास्टिक कंटेनरस (बोतल, ट्रे, गिलास, लिडस) 250 माइक्रोन से कम
- फूड आइटम की पैकिंग के लिए इस्तेमाल होने वाली सिल्वर एल्यूमीनियम, प्लास्टिक बैग या पाउच
- ड्रिंकिग वाटर सील्ड ग्लास और प्लास्टिक मिनरल वाटर पाउच.
- एक बार इस्तेमाल होने वाले रेजर्स, पेन
- डेकोरेशन में इस्तेमाल होने वाला प्लास्टिक और थर्मोकोल
- डेकोरेशन में इस्तेमाल होने वाली रैपिंग, पैकिंग शीट, फ्रिल्स, गारलैंड, पार्टी ब्लूपर्स, प्लास्टिक रिबन
- नॉन वोवेन पोलीप्रोपोलिन बैग
- हैंडल और बिना हैंडल के सभी साइज और रंग में प्लास्टिक/पॉलीथिन कैरी बैग
ये चीजें तीन महीने बाद होंगी बैन
- 50 माइक्रोन्स से कम किसी भी तरह की इंडस्ट्रियल पैकेजिंग
- डेरी आइटम में इस्तेमाल होने वाली 250 माइक्रोन से कम की पैकेजिंग, खीर, आइसक्रीम के कंटेनर आदि.
- 50 एमएल/50 ग्राम से कम पैकेजिंग कैपेस्टी के सैशे
- ईयर बड में इस्तेमाल होनी वाली प्लास्टिक स्टिक्स, बैलून, फ्लैग, कैंडीस
- 500 एमएल क्वांटिटी से कम प्लास्टिक रीफिल पाउच
- टेट्रा पैक के साथ मिलने वाली स्ट्रॉ
- मल्टीलेयर्ड पैकेजिग जो फूड/स्नैक्स पैकिग में इस्तेमाल होती है.
(रिपोर्ट- नितिका माहेश्वरी/ चंडीगढ़)
03:16 PM IST