APEDA ने लुलु ग्रुप के साथ किया करार, जैविक उत्पादों के निर्यात को मिलेगा बढ़ावा
Organic Farming: इस रणनीतिक साझेदारी का मकसद, लुलु ग्रुप के हाइपरमार्केट और रिटेल आउटलेट्स के विशाल नेटवर्क के ज़रिए अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में भारतीय जैविक उत्पादों को बढ़ावा देना है.
Organic Farming: वाणिज्य मंत्रालय की इकाई एपीडा ने भारतीय जैविक उत्पादों को वैश्विक स्तर पर बढ़ावा देने के लिए लुलु ग्रुप इंटरनेशनल (LuLu Group International) के साथ एक समझौता किया है. यह समूह, खुदरा दुकानें चलाने वाली पश्चिम एशिया की एक प्रमुख कंपनी है. समझौते के तहत लुलु ग्रुप संयुक्त अरब अमीरात (UAE) में अपने स्टोर में प्रमाणित भारतीय जैविक उत्पादों की एक विस्तृत रेंज का प्रदर्शन करेगा.
एपीडा (कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण) किसान उत्पादक संगठनों (FPO), किसान उत्पादक कंपनियों (FPC) और सहकारी समितियों और लुलु समूह सहित भारत में जैविक उत्पादकों के बीच संबंधों को सुविधाजनक बनाकर इन प्रयासों का समर्थन करेगा. उसने कहा, इससे यह सुनिश्चित होगा कि भारतीय जैविक उत्पादों का व्यापक वैश्विक पहुंच हो.
ये भी पढ़ें- पपीता की खेती से होगा मोटा मुनाफा, सरकार आपको देगी ₹45 हजार, बस करना होगा ये काम
TRENDING NOW
समझौता ज्ञापन में कई प्रमुख पहलों पर ज़ोर दिया गया है, जिनमें नेशनल प्रोग्राम फॉर ऑर्गेनिक प्रोडक्शन (NPOP) के तहत, प्रमाणित भारतीय जैविक उत्पादों के लिए लुलु हाइपरमार्केट में समर्पित शेल्फ स्पेस, प्रोडक्ट सैंपलिंग, संवादात्मक कार्यक्रम और उपभोक्ता द्वारा दी गई प्रतिक्रिया के लिए कार्यक्रम, क्रेता-विक्रेता बैठक (BSM), B2B बैठकें और व्यापार मेले शामिल हैं, ताकि जैविक निर्यात को और बढ़ावा दिया जा सके और भारतीय जैविक उत्पादों के लाभों के बारे में अधिक जागरूकता पैदा की जा सके. इसके अलावा अंतर्राष्ट्रीय खुदरा बाजार की समझ बढ़ाने के लिए संयुक्त अरब अमीरात में लुलु ग्रुप के इंफ्रास्ट्रक्चर में भारतीय एफपीओ/एफपीसी और सहकारी समितियों के लिए एक्सपोजर विजिट को भी इसमें शामिल किया गया है.
इस साझेदारी से भारतीय जैविक उत्पादों की वैश्विक स्तर पर पहुंच में और इजाफा होगा और भारतीय उत्पादकों और वैश्विक उपभोक्ताओं के बीच मजबूत संपर्क साधते हुए भारत में जैविक खेती के विकास में और मदद मिलेगी. भारत से, पूर्व निर्धारित कृषि और प्रोसेस्ड फूड प्रोडक्ट्स के निर्यात को बढ़ावा देने के लिए जिम्मेदारी एपीडा (APEDA) के पास है. यह जैविक उत्पादन के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम (एनपीओपी) के सचिवालय के तौर पर भी कार्य करता है, जो भारत से जैविक निर्यात को संचालित करने वाली एक नियामक संस्था है.
ये भी पढ़ें- सरकार ने लॉन्च किया Rangeen Machhli ऐप, 8 भाषाओं में मिलेगी जानकारी, रंगीन मछली पालन को मिलेगा बढ़ावा
इस रणनीतिक साझेदारी का मकसद, लुलु ग्रुप के हाइपरमार्केट और रिटेल आउटलेट्स के विशाल नेटवर्क के ज़रिए अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में भारतीय जैविक उत्पादों को बढ़ावा देना है.
07:17 PM IST