टेक्सटाइल इंडस्ट्री के लिए PLI स्कीम के तहत Rs 19,000 करोड़ के प्रस्तावों को मंजूरी, करीब ढाई लाख लोगों को मिलेगा रोजगार
PLI Scheme For Textiles: 67 आवेदनों में से 15 पहले चरण के तहत तथा 52 दूसरे चरण के अंतर्गत मिले. पहले फेज में कम-से-कम 300 करोड़ रुपये के निवेश की जरूरत है. वहीं प्रोत्साहन के लिये कम-से-कम 600 करोड़ रुपये के कारोबार की जरूरत है.
कपड़ा सचिव यू पी सिंह ने कहा कि पीएलआई स्कीम के तहत 67 प्रस्ताव मिले हैं. (फोटो: जी न्यूज)
कपड़ा सचिव यू पी सिंह ने कहा कि पीएलआई स्कीम के तहत 67 प्रस्ताव मिले हैं. (फोटो: जी न्यूज)
PLI Scheme For Textiles: सरकार ने गुरुवार को कहा कि कपड़ा क्षेत्र के लिये उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (PLI) स्कीम के तहत गिन्नी फिलामेंट्स, किम्बर्ली क्लार्क इंडिया प्राइवेट लिमिटेड और अरविंद लिमिटेड समेत विभिन्न कंपनियों के 61 आवेदनों को मंजूरी दी गयी है. इससे 19,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश आने की उम्मीद है.
कपड़ा सचिव यू पी सिंह ने संवाददाताओं से कहा कि, ‘‘क्षेत्र के लिए पीएलआई योजना के तहत 67 प्रस्ताव मिले थे. इसमें 61 आवेदनों को मंजूरी दी गयी है. जिन आवेदनों को मंजूरी दी गयी है, उनसे 19,077 करोड़ रुपये का निवेश आने की उम्मीद है. इससे अनुमानित कारोबार 1,84,917 करोड़ रुपये का होगा. जबकि 2,40,134 लोगों को रोजगार मिलने की संभावना है.’’
कपड़ा उद्योग को बड़ी राहत
सरकार ने देश की मैन्युफैक्चरिंग कैपेसिटी और एक्सपोर्ट को बढ़ाने को लेकर पांच साल से अधिक समय में 10,683 करोड़ रुपये के वित्तीय व्यय (Financial outlay) की मंजूरी के साथ मानव निर्मित फाइबर (MMF) कपड़े, एमएमएफ परिधान, तकनीकी वस्त्र समेत कपड़ा क्षेत्र के लिये पीएलआई योजना को मंजूरी दी है. वहीं कपड़ा उद्योग को सरकार ने बड़ी राहत दी है. कॉटन से इंपोर्ट ड्यूटी हटा ली गई है. 14 अप्रैल से 30 सितंबर 2022 तक के लिए ये ड्यूटी हटाई गई है.
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मिले इतने आवेदन
अधिकारी ने कहा कि 67 आवेदनों में से 15 पहले चरण के तहत तथा 52 दूसरे चरण के अंतर्गत मिले. पहले फेज में कम-से-कम 300 करोड़ रुपये के निवेश की जरूरत है. वहीं प्रोत्साहन के लिये कम-से-कम 600 करोड़ रुपये के कारोबार की जरूरत है. वहीं दूसरे फेज में न्यूनतम निवेश 100 करोड़ रुपये और न्यूनतम कारोबार 200 करोड़ रुपये होना चाहिए.
जिन कंपनियों के प्रस्तावों को मंजूरी मिली है, उनमें अवगोल इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, गोवा ग्लास फाइबर लिमिटेड, एचपी कॉटन टेक्सटाइल मिल्स, किम्बर्ली क्लार्क इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (योजना के तहत निवेश और उत्पादन के लिए एक नई कंपनी के गठन पर निर्भर), मदुरा इंडस्ट्रियल टेक्सटाइल्स, एमसीपीआई प्राइवेट लिमिटेड, प्रतिभा सिंटेक्स, शाही एक्सपोर्ट्स और अरविंद लिमिटेड शामिल हैं.
सिंह ने कहा कि यह योजना वैश्विक मानव निर्मित फाइबर और तकनीकी वस्त्र क्षेत्र में भारत की हिस्सेदारी बढ़ाने में मदद करेगी.
आठ से 10 अरब डॉलर के निर्यात का लक्ष्य
उन्होंने कहा कि ‘‘हम तकनीकी वस्त्रों के निर्यात को दो अरब डॉलर से बढ़ाकर आठ से 10 अरब डॉलर पर पहुंचाने का लक्ष्य लेकर आगे बढ़ रहे हैं.
वृहत निवेश कपड़ा पार्क (मित्र) योजना के बारे में सचिव ने कहा कि उन्हें 13 राज्यों से 17 प्रस्ताव मिले हैं. इसमें मध्य प्रदेश के चार और कर्नाटक के दो प्रस्ताव शामिल हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘हम इन प्रस्तावों का आकलन कर रहे हैं क्योंकि योजना के तहत पहले चरण में केवल सात पार्कों को ही मंजूरी दी जाएगी जमीनी हकीकत जानने के लिए हम इन राज्यों में टीमें भी भेज रहे हैं.’’
07:13 PM IST