रेलवे ने नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस में किया ये बड़ा बदलाव, यात्रा हुई सुरक्षित और आरामदायक
आनंद विहार रेलवे स्टेशन से गुवाहाटी के बीच चलने वाली नॉर्थ इस्ट एक्सप्रेस की यात्रा और आरामदायक हो चुकी है. इस रेलगाड़ी के पुरानो रेक को अब बदल कर इसमें अब एलएचबी (लिंक हॉफमेन बुश) रेक लगा दिया गया है.
नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस में पुरान डिब्बे हटा कर एलएचबी डिब्बे लगाए गए (फाइल फोटो)
नॉर्थ ईस्ट एक्सप्रेस में पुरान डिब्बे हटा कर एलएचबी डिब्बे लगाए गए (फाइल फोटो)
आनंद विहार रेलवे स्टेशन से गुवाहाटी के बीच चलने वाली नॉर्थ इस्ट एक्सप्रेस की यात्रा और आरामदायक हो चुकी है. इस रेलगाड़ी के पुरानो रेक को अब बदल कर इसमें अब एलएचबी (लिंक हॉफमेन बुश) रेक लगा दिया गया है. उच्च स्तरीय तकनीक से लैस इस कोच में बेहतर शॉक एक्जावर का उपयोग होता है. साथ ही एलएचबी रेक का सबसे बड़ा फायदा ये होता है कि किसी दुर्घटना के दौरान इसके डिब्बे एक दूसरे पर नहीं चढ़ते. आरसीएफ के पुराने कोच किसी हादसे में एक दूसरे पर चढ़ जाते हैं जिससे बड़े पैमानों पर जान माल की क्षति होती है.
ये होते हैं एलएचबी कोच के फायदे
एलएचबी कोच पुराने कंवेशनल कोच से काफी अलग होते हैं. ये उच्च स्तरीय तकनीक से लैस है. पटरियों पर दौड़ते वक्त अंदर बैठे यात्रियों को ट्रेन चलने की आवाज बहुत धीमी सुनाई देती है. साथ ही इस डिब्बों में पुराने कोच की तुलना में जगह अधिक होने से यात्रा आरामदायक होती है. एचएचबी कोच स्टेनलेस स्टील और एल्यूमीनियम से बने होते हैं. जिससे कि यह कोच पहले की तुलना में हल्काहोता हैं. सीबीसी कपलिंग तकनीक के कारण हादसे में दुर्घटना की संभावना कम होती है. दुर्घटना होने के पर भी बोगियां एक-दूसरे पर नहीं चढ़ती है.
The iconic Northeast Express been converted into a LHB rake from today, marking the beginning of a new era of safe, speedy and comfortable travel. pic.twitter.com/oXvb13PFuS
— N. F. Railway (@RailNf) March 3, 2019
बंद हागा पुराने डिब्बों का उत्पादन
रेलवे ने यात्रियों को सुरक्षित एवं आरामदेह सफर उपलब्ध कराने के लिए पारंपरिक आईसीएफ डिब्बों का निर्माण 2018-19 से पूरी तरह बंद करने का निर्णय लिया है. वर्ष 2017-18 से एलएचबी डिब्बों का निर्माण तेजी से किया जाएगा. रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार एलएचबी डिब्बों का निर्माण लक्ष्य वर्ष 2016-17 के 1697 से बढ़ाकर 2017-18 में 2384 कर दिया गया है और वर्ष 2018-19 में 3025 एलएचबी डिब्बे बनाये जाएंगे.
12:17 PM IST