एविएशन इंडस्ट्री फिर से भरेगी लंबी उड़ान, सरकार ATF रेट से करेगी शुरुआत
देश में एविएशन सेक्टर और विशेषकर एयरलाइन्स की माली हालात को बिगड़ने से बचाने के लिए सरकार तमाम प्रयास कर रही है.
देश में एविएशन सेक्टर और विशेषकर एयरलाइन्स की माली हालात को बिगड़ने से बचाने के लिए सरकार तमाम प्रयास कर रही है. एविएशन मिनिस्टर हरदीप पूरी ने राज्यसभा में बताया कि एयरलाइन्स के लिए ATF यानी हवाई ईंधन पर लगने वाले टैक्स को कम करने के लिए राज्य सरकारों से लेकर तेल कंपनियों और एयरलाइन्स से बातचीत चल रही है.
इसके साथ ही, सरकार ATF की कीमतों को हर महीने तय करने या revise करने के बजाय इसे हर दो हफ्ते या 15 दिन में revise या तय करने पर विचार कर रही है. सरकार ATF की कीमतों को बाजार/मार्केट के हवाले करना चाहती है.
इसके अलावा सरकार, टैक्स के मोर्चे पर भी एयरलाइन्स को राहत देने पर विचार कर रही है, जिसमें प्रस्ताव है कि एयरलाइन्स को टैक्स देनदारी को लेकर 6 महीने का समय दिया जाए.
पुरी के मुताबिक एविएशन सेक्टर के नज़रिए से सरकार के लिए अब भी सबसे बड़ी चुनौती हवाई ईंधन ATF को GST के दायरे में लाना है. इसके लिए कोशिशें जारी हैं.
बता दें कि कोरोना काल में अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल के दाम 40 डॉलर के आसपास चल रहे हैं. हालांकि तूफान के कारण अमेरिका में कच्चे तेल का उत्पादन प्रभावित हुआ है और तेल का भंडार घटने के अनुमानों के बीच बुधवार को लगतार दूसरे दिन तेल की कीमतों में तेजी दर्ज हुई है.
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वहीं, न्यूयार्क मर्केंटाइल एक्सचेंज (नायमैक्स) पर वेस्ट टेक्सास इंटरमीडिएट (WTI) के अक्टूबर डिलीवरी वायदा अनुबंध में पिछले सत्र के मुकाबले 1.75 फीसदी की तेजी के साथ 38.95 डॉलर प्रति बैरल पर कारोबार चल रहा था. डब्ल्यूटीआई का भाव बीते सत्र में 3.38 फीसदी की तेजी के साथ बंद हुआ था.
केडिया एडवायजरी के डायरेक्टर अजय केडिया ने बताया कि मेक्सिको की खाड़ी में तूफान सैली के कारण तेल का उत्पादन प्रभावित होने से कीमतों में तेजी आई है. वहीं, अमेरिकी पेट्रोलियम इंस्टीट्यूट के आंकड़ों के अनुसार, अमेरिका मे बीते सप्ताह तेल के भंडार में 95 लाख बैरल की गिरावट आई है. हालांकि बाजार को बुधवार को जारी होने वाले अमेरिकी एजेंसी एनर्जी इन्फोरमेशन एडमिनिस्ट्रेशन के आधिकारिक आंकड़ों का इंतजार है.
केडिया ने कहा कि चीन में औद्योगिक उत्पादन और खुदरा बिक्री के अच्छे आंकड़े आने और जर्मन बिजनेस कान्फिडेंस में सुधार की रिपोर्ट से भी कच्चे तेल की तेजी को सपोर्ट मिल रहा है.