अगर आप ये समझते हैं कि बैंक में पैसे रखकर आप ज्यादा रिटर्न पा सकते हैं तो यहां थोड़ा और गंभीरता से सोचने की जरूरत है. क्योंकि डाक विभाग की ये स्कीम आपको हर महीने पैसा कमाने का मौका दिला सकती है. भविष्य में निवेश की योजना बनानेवालों के लिए पोस्टल डिपार्टमेंट की ये योजना खासी लाभी साबित हो सकती है. बैंक अगर डिफॉल्ट कर जाता है तो केवल 5 लाख रुपए ही मिलने की गारंटी होती है, लेकिन डाक विभाग की कई योजनाओं में निवेश कर आप इस रिस्क से बच सकते हैं. दरअसल पोस्ट ऑफिस सेविंग प्लान में निवेश की शुरुआत बहुत ही कम राशि से की जा सकती है. डाकघर की छोटी बचत योजनाओं में मासिक आय योजना (MIS) भी शामिल है. अगर आप इस प्लान में निवेश करते हैं तो आपके पास हर महीने कमाई करने का मौका होगा.

ब्याज दर वास्तव में क्या है?

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डाकघर की मासिक आय योजना में वर्तमान में 6.6 प्रतिशत की वार्षिक ब्याज दर अर्जित की जा सकती है. मासिक आधार पर भी ब्याज का भुगतान किया जाएगा.

निवेश की राशि

इस डाकघर योजना में 1,000 रुपये के न्यूनतम और बेहद कम रकम की लागत से निवेश किया जा सकता है. जबकि एक अकाउंट में अधिकतम निवेश 4.5 लाख रुपये और जॉइंट खाते में 9 लाख रुपये तक ही निवेश करने की अनुमति होती है. इस योजना में अधिकतम 4.5 लाख रुपये मिल सकते हैं. इसमें जॉइंट अकाउंट में उसका हिस्सा शामिल है. जॉइंट अकाउंट में हर संयुक्त खाते धारक का बराबर का हिस्सा होगा.

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पात्रता क्या है

पोस्ट ऑफिस मंथली इनकम प्लान में एक वयस्क, कुल 3 वयस्क, एक नाबालिग या कमजोर दिमाग वाले व्यक्ति की ओर से माता-पिता और 10 साल से अधिक उम्र के नाबालिग के नाम पर एक संयुक्त खाता खोला जा सकता है.

कब होती है मैच्योरिटी?

अकाउंट खोलने की तारीख से पांच साल के खत्म होने के बाद खाता बंद किया जा सकता है. खाता बंद करने के लिए पासबुक के साथ आवेदन पत्र कार्यालय जमा करना होता है. यदि खाताधारक की समय से पहले मृत्यु हो जाती है, तो खाता बंद किया जा सकता है और राशि उसके नामांकित व्यक्ति या कानूनी उत्तराधिकारी को वापस कर दी जाती है. ब्याज का भुगतान उस महीने से पहले किया जाता है जिसमें रिफंड किया जाता है.

अगर समय से पहले करना हो बंद खाता

इस अकाउंट में निवेश की तारीख से एक साल के पहले जमा की गई राशि नहीं निकाली जा सकती है. लेकिन यदि खाता खोलने की तारीख से एक साल बाद और तीन साल पहले खाता बंद किया जाता है, तो मूलधन में 2% कट जाता है और बाकी रकम का भुगतान किया जाता है. अगर खाता खोलने की तारीख से तीन साल और पांच साल पहले खाता बंद किया जाता है, तो मूलधन का 1% काट लिया जाता है और शेष राशि का भुगतान कर दिया जाता है. संबंधित डाकघर में पासबुक के साथ उपयुक्त फॉर्म भरकर मैच्योरिटी से पहले खाता बंद किया जा सकता है.