अगर कोई पेंशनर बिना आधार ई वेरिफिकेशन के लाइफ सर्टिफिकेट अपडेट कराना चाहता है तो कोई भी ट्रेजरी या बैंक अधिकारी उसे ऐसा करने से रोक नहीं सकता. क्‍योंकि सुप्रीम कोर्ट अपने आदेश में यह साफ कर चुका है कि आधार ई-वेरिफिकेशन पूरी तरह से ग्राहक की स्‍वेच्‍छा पर निर्भर करेगा. अगर पेंशनर आधार नंबर के बजाय कोई और पहचान पत्र देकर अपना वेरिफिकेशन कराना चाहता है तो संबंधित अफसर ऐसा करने के लिए बाध्‍य है.
 
लाइफ सर्टिफिकेट न देने का नुकसान
बैंक में लाइफ सर्टिफिकेट जमा न कराने की स्थिति में ट्रेजरी आपकी पेंशन रिलीज नहीं करेगा. इसीलिए सारे बैंक अपने सभी पेंशन खाताधारकों को नवंबर अंत तक अपना लाइफ सर्टिफिकेट जमा करने को कहते हैं. अगर सर्टिफिकेट जमा नहीं होगा तो पेंशनर्स अपनी पेंशन अकाउंट से नहीं निकाल पाएंगे.
 
सर्टिफिकेट अपडेट कराने का मैनुअल तरीका
स्‍टेट बैंक की आधिकारिक वेबसाइट के अनुसार पेंशन किसी भी शाखा में लाइफ सर्टिफिकेट जमा कर सकते हैं. इसके लिए अगर वे खुद नहीं आ सकते तो किसी अधिकृत व्‍यक्ति को बैंक भेज सकते हैं. बैंक का अधिकारी लाइफ सर्टिफिकेट की रसीद को स्‍वीकार करेगा.
 
ये अफसर भी हैं अधिकृत
सेंट्रल पेंशन एकाउंटिंग आफिस के मेमोरेंड के अनुसार जो पेंशनर बैंक नहीं जा सकते वे किसी मजिस्‍ट्रेट या गजटेड अफसर से साइन कराकर अपना लाइफ सर्टिफिकेट जमा कर सकते हैं. अगर बैंक में पेंशन आ रही है तो बैंक मैनेजर भी उसे सर्टिफाई कर सकता है.
 
ऐसे भी दिया जाता है लाइफ सर्टिफिकेट
हर साल नवंबर महीने में पेंशनर बैंक जाकर वहां रजिस्‍टर में साइन कर अपने जीवित होने का प्रमाण देते थे, लेकिन यह सभी के लिए आसान नहीं है. कई बुजुर्ग व बीमार पेंशनरों को इसमें काफी दिक्‍कत आती है.
 
एसबीआई में 36 लाख से ज्‍यादा पेंशन खाते
SBI देश का सबसे बड़ा बैंक है और देशभर में सबसे ज्यादा पेंशन खाते इसी बैंक में हैं. बैंक के मुताबिक उसके पास 2017 तक करीब 36 लाख पेंशन खाते थे और 14 सेंट्रेलाइज्ड पेंशन प्रोसेसिंग सेल हैं.