RBI monetary policy 2023: नए फाइनेंशियल ईयर में पहली बार रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (Reserve Bank of India) अपनी पहली मॉनिटरी पॉलिसी का ऐलान करने जा रहा है. गुरुवार सुबह इस पॉलिसी (RBI Policy) का ऐलान होगा. महंगाई को लेकर सबकी निगाहें आरबीआई पर टिकी हैं. हाल ही में दुनियाभर के संट्रेल बैंक फेडरल रिजर्व, यूरोपियन सेंट्रल बैंक और बैंक ऑफ इंग्लैंड ने भी ब्याज दरों में बढ़ोतरी की है. इसलिए कयास लगाए जा रहे हैं कि आरबीआई (RBI) भी रेपो रेट (Repo rate) में 25 बेसिस प्वाइंट्स का इजाफा कर सकता है. ज़ी बिज़नेस के मेगा पोल के हिसाब से ज्यादातर एक्सपर्ट्स यही मानते हैं कि पॉलिसी में 25 बेसिस प्वाइंट्स का इजाफा हो सकता है. फरवरी महीने में रीटेल इंफ्लेशन रेट 6.4 फीसदी रहा था. जनवरी में यह 6.5 फीसदी था. एक्सपर्ट्स मानते हैं कि रिजर्व बैंक अपनी मॉनिटरी पॉलिसी में इन्फ्लेशन फोरकॉस्ट भी चेंज कर सकता है. 

1) RBI पॉलिसी में कितना रेपो रेट बढ़ा सकता है?

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A) No Rate Hike  20%

B) 25 BPS Hike   80%

C) 35 BPS Hike   -

D) 50 BPS Hike   -

2)  इस पॉलिसी के बाद आरबीआई कितनी बार रेट बढ़ा सकता है?

A) आगे नहीं बढ़ेंगी ब्याज दरें - 100%

B) 25 BPS -  Nil

C) 25 से 50 bps -  Nil

D) 50 bps से ज्यादा - Nil

3) RBI कब से रेपो रेट में कटौती शुरू कर सकता है?

A) Q1FY24- 20%

B) Q3FY24- 0%

C) Q4FY24- 20%

D) अगले वित्त वर्ष- 60%

4) क्या RBI महंगाई अनुमान में बदलाव करेगा?

A) हां- 60%

B) नहीं- 40%

5) क्या GDP अनुमान घटाएगा RBI?

A) हां- 60%

B) नहीं- 40%

6) लिक्विडिटी बढ़ाने के लिए RBI कोई ठोस कदम उठाएगा?

A) हां- 60%

B) नहीं- 40%

7) क्या आरबीआई अपने पॉलिसी रुख में बदलाव कर सकता है?

A) हां- 20% 

B) नहीं- 80%

इस बार का सबसे बड़ा चैलेंज क्या है?

बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि के बाद पूर्वानुमानित अल नीनो ने इस साल कृषि गतिविधियों को खतरे में डाल दिया है. विशेषज्ञों का मानना है कि कमोडिटीज की कमी हो सकती है, जिससे महंगाई और बढ़ सकती है. इस साल संभावित गर्मी से खाद्य-मुद्रास्फीति के जोखिम का सामना हो सकता है.

महंगाई पर RBI के फैसलों का असर

मई 2022 से लगातार छह बढ़ोतरी के साथ, RBI ने दरों में 250 bps की वृद्धि की है. आखिरी बार फरवरी की शुरुआत में ही MPC में RBI ने मुद्रास्फीति को मैनेज करने के लिए रेपो दर को 25 bps से बढ़ाकर 6.5% करने का फैसला किया था.

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