Spectrum Allocation: डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकॉम (DoT) इस महीने नियामक ट्राई (TRAI) से संपर्क कर स्पेक्ट्रम के आवंटन के तरीके और मूल्य निर्धारण और सैटकॉम (Satcom) सेवाओं के लिए जारी किए जाने वाले लाइसेंस के दायरे पर नियामक के विचार मांग सकता है. सूत्रों ने कहा कि भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (TRAI) ने 6 अप्रैल, 2023 को अंतरिक्ष-आधारित संचार सेवाओं के लिए स्पेक्ट्रम के असाइनमेंट पर एक कंसल्टेशन पेपर जारी किया था, लेकिन नए दूरसंचार अधिनियम की घोषणा के बाद संदर्भ को विभाग को लौटा दिया गया.

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सूत्र ने पीटीआई-भाषा से कहा, टेलीकॉम डिपार्टमेंट अंतरिक्ष आधारित संचार सेवाओं के लिए स्पेक्ट्रम आवंटित करने के लिए मूल्य निर्धारण और कार्यप्रणाली पर ट्राई से विचार मांगेगा. प्रशासनिक रूप से आवंटित स्पेक्ट्रम वाली सैटकॉम कंपनियां किस तरह की सेवाएं प्रदान कर सकती हैं, इस पर पूर्ण स्पष्टता लाने के लिए मौजूदा लाइसेंस को दुरुस्त करने पर भी विचार किया जा सकता है.

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इंटरनेट कनेक्टिविटी सुनिश्चित करने में सक्षम

सैटकॉम (उपग्रह संचार प्रौद्योगिकी) सेवा प्रदाताओं को दूरदराज के क्षेत्रों या दुर्गम इलाकों में इंटरनेट कनेक्टिविटी सुनिश्चित करने में सक्षम बनाती है. भारती समूह समर्थित वनवेब (OneWeb) और रिलायंस समूह जियो सैटकॉम को सेवाओं के लिए GMPCS (सैटेलाइट टेलीफोनी) और वीएसएटी लाइसेंस (VSAT licence) जारी किया गया है.

एलन मस्क की स्टारलिंक ने भी भारत में सैटकॉम सेवाएं शुरू करने की मंजूरी के लिए आवेदन किया है. स्टारलिंक का 4,000 निचली पृथ्वी कक्षा (LEO) उपग्रह समूह के साथ सैटकॉम क्षेत्र पर प्रभुत्व है. वनवेब के पास 600 से अधिक एलईओ उपग्रह हैं. सूत्र के मुताबिक, वीएसएटी लाइसेंस में ऐसे मानदंड हैं जो नए दूरसंचार अधिनियम के प्रावधानों के अनुरूप नहीं हैं और इसलिए उन्हें ठीक करने की जरूरत है.

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