Sugar Export: शुगर एक्सपोर्ट पर खाद्य एवं उपभोक्ता मंत्रालय का बड़ा बयान आया है. सरकार चीनी के निर्यात पर फैसला अप्रैल में लेगी. खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के अपर सचिव सुबोध कुमार सिंह ने कहा कि भारत में चीनी का पर्याप्त स्टॉक है. अप्रैल में शुगर एक्सपोर्ट पर समीक्षा होगी. आपको बता दें कि FY23 में चीनी का उत्पादन 3.59 करोड़ टन से घटकर 3.36 करोड़ टन रहने की संभावना है. महाराष्ट्र में बारिश के कारण उत्पादन पर असर पड़ा है. FY23 में 10 लाख टन ज्यादा चीनी का निर्यात होने की संभावना है.

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उन्होंने कहा, चीनी की कीमत और स्टॉक को लेकर कोई चिंता की बात नहीं है. 28 फरवरी तक 247 लाख मीट्रिक टन चीनी उत्पादन होने का अनुमान है. 70 लाख टन का क्लोजिंग बैलेंस रहने की उम्मीद है. 11.43% एथेनॉल ब्लेंडिंग (Ethanol Blending) का टारगेट पूरा हुआ है. आसानी से 12% का टारगेट पूरा करेंगे. निवेश 2,800 करोड़ हो चुका है. अप्रैल में मिलों की क्रसिंग पूरी हो जाएगी, तब शुगर एक्सपोर्ट को लेकर समीक्षा करेंगे.

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चीनी का कम उत्पादन होने का अनुमान

खाद्य मंत्रालय ने करंट मार्केटिंग ईयर 2022-23 (अक्टूबर-सितंबर) के लिए 60 लाख टन चीनी निर्यात की मंजूरी दी है. मार्केटिंग ईयर 2021-22 में देश ने लगभग 110 लाख टन चीनी का एक्सपोर्ट किया था, जो अब तक का सर्वाधिक एक्सपोर्ट है. पिछले महीने खाद्य सचिव ने कहा था कि कुछ उत्पादक राज्यों में खराब मौसम की वजह से मार्केटिंग ईयर 2022-23 में चीनी उत्पादन कम रहने का अनुमान है.

हाल ही में, भारतीय चीनी मिल संघ (ISMA) ने कहा कि चीनी उत्पादन करंट मार्केटिंग ईयर में 5% घटकर 3.4 करोड़ टन रहने का अनुमान है क्योंकि एथेनॉल के उत्पादन के लिए गन्ने शीरे की अधिक मात्रा का उपयोग किया जा रहा है. मार्केटिंग ईयर 2021-22 में चीनी का उत्पादन 3.58 करोड़ टन रहा. एथेनॉल उत्पादन को लेकर 45 लाख टन चीनी शीरे का उपयोग किये जाने की संभावना है.

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महाराष्ट्र में वास्तविक चीनी उत्पादन वर्ष 2022-23 में पिछले वर्ष के 137 लाख टन से घटकर 121 लाख टन रहने का अनुमान है. उत्तर प्रदेश में 102 लाख टन से 101 लाख टन की मामूली गिरावट देखी जाएगी, जबकि कर्नाटक में उत्पादन 60 लाख टन से कम होकर 56 लाख टन रह सकता है. इस्मा ने बताया है कि करंट मार्केटिंग ईयर 2022-23 के अक्टूबर से 15 फरवरी के बीच देश का चीनी उत्पादन 3% बढ़कर 228.4 लाख टन हो गया है.