Real Estate: सरकार ने अटकी पड़ी कुछ रेसिडेंशियल प्रॉपर्टी (Residential Property) में 540 करोड़ रुपये से अधिक निवेश को मंजूरी दी है. सरकार ने शुक्रवार को बताया कि यह निवेश मंजूरी फंसी हुई परियोजनाओं को पटरी पर लाने के लिये गठित 25,000 करोड़ रुपये के कोष में से दी गई है. इसके अलावा 14 परियोजनाओं के लिये जांच-पड़ताल को लेकर शुरुआती मंजूरी दी गई है. इसके लिये 2,500 करोड़ रुपये के कोष की जरूरत होगी. इसके साथ अन्य परियोजनाओं पर भी गंभीरता से विचार जारी है.

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पिछले साल नवंबर में केंद्र सरकार ने 1,500 अटकी आवासीय परियोजनाओं को पूरा करने में मदद के लिये 25,000 करोड़ रुपये के कोष के गठन को मंजूरी दी है. पीटीआई की खबर के मुताबिक, इसमें वे परियोजनाएं भी शामिल हैं जिन्हें गैर-निष्पादित परिसंपत्ति (NPA) घोषित किया जा चुका है या फिर ऋण शोधन कार्रवाई के लिये स्वीकार किया गया है.

वित्त मंत्रालय ने ट्विटर (twitter) पर लिखा अटकी परियोजनाओं को मंजूरी दी गई जिसमें 540 करोड़ रुपये से अधिक निवेश की प्रतिबद्धता जताई गई है. निवेश राशि का वितरण शुरू हो गया है. इससे 1,800 मकान खरीदारों को राहत मिलेगी और 3,000 करोड़ रुपये की अटकी निवेश पूंजी का उपयोग हो पाएगा.

इसके अलावा 14 परियोजनाओं के लिये जांच-पड़ताल को लेकर शुरुआती मंजूरी दी गयी है. इसके लिये 2,500 करोड़ रुपये के कोष की जरूरत होगी. इससे 10,000 मकान खरीदारों को राहत मिलेगी. इन परियोजनाओं में 12,500 करोड़ रुपये की पूंजी फंसी है. मंत्रालय के अनुसार 40 अन्य परियोजनाओं पर विचार किया जा रहा है लेकिन इनके नाम नहीं बताए गए.

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पिछले साल सरकार ने अटकी आवासीय परियोजनाओं में फंसे मकान खरीदारों और रीयल एस्टेट कंपनियों को बड़ी राहत देने की घोषणा की थी. केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने 1,600 अटकी पड़ी आवासीय परियोजनाओं को पूरा करने के लिये 25,000 करोड़ रुपये के कोष को मंजूरी दी थी. इससे देशभर में 4.59 लाख आवासीय इकाइयों को पूरा करने में मदद मिलेगी और सुस्त पड़ती अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाया जा सकेगा.