जेट एयरवेज के पायलट अदालत पहुंचे, एसबीआई को निर्देश देने की लगाई गुहार
जेट एयरवेज के पायलटों ने मंगलवार को उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाया. उन्होंने एयरलाइन का फिर से परिचालन शुरू करने के लिए भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) को कंपनी को अंतरिम पूंजी उपलब्ध कराने का निर्देश देने का शीर्ष अदालत से आग्रह किया है.
जेट एयरवेज के पायलटों ने मंगलवार को उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाया. उन्होंने एयरलाइन का फिर से परिचालन शुरू करने के लिए भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) को कंपनी को अंतरिम पूंजी उपलब्ध कराने का निर्देश देने का शीर्ष अदालत से आग्रह किया है. उल्लेखनीय है कि जेट एयरवेज ने अस्थायी तौर पर उड़ानें बंद कर दी है. इससे उसके करीब 22,000 कर्मचारियों के सामने रोजी - रोटी का संकट खड़ा हो गया है.
जेट एयरवेज के स्लॉट दूसरे का न देने की अपील
नेशनल एविएटर्स गिल्ड ने याचिका में जेट एयरवेज के स्लॉट को दूसरी एयरलाइन को नहीं देने के लिए केंद्र और नागरिक विमानन निदेशालय (डीजीसीए) को निर्देश देने की मांग की है. केंद्र और डीजीसीए की योजना जेट के स्लॉट को अस्थायी तौर पर अन्य कंपनियों को देने की है.
दायर की गई याचिका
याचिका में एयरलाइन का पंजीकरण खत्म नहीं करने की भी मांग की गई है. याचिका वकील गौरव अग्रवाल ने दायर की है. याचिका में कहा गया है कि कंपनी के निदेशक मंडल ने 25 मार्च को ऋण पुनर्गठन योजना को मंजूरी दी थी , जिसके तहत एसबीआई को कंपनी में 1,500 करोड़ रुपये की पूंजी डालनी थी लेकिन वादे के मुताबिक पूंजी का वितरण नहीं किया गया है.
एसबीआई को बताया मूल्य गिरावट के लिए जिम्मेदार
इसमें कहा गया है कि एसबीआई का पूंजी नहीं डालने का फैसला जेट एयरवेज के खड़े होने और उसके मूल्य में गिरावट के लिए जिम्मेदार है. याचिका में कहा गया कि केंद्र , डीजीसीए , भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण और अन्य कंपनी के मूल्य को बढ़ाने में नाकाम रहे हैं. याचिका में कहा गया है कि इसके बावजूद की रुचि पत्र आमंत्रित किया गया है और नई खरीदार की तलाश करने के लिए बोली प्रक्रिया चल रही है तब भी केंद्र और डीजीसीए ने जेट एयरवेज के स्लॉट अन्य कंपनियों को आवंटित करना शुरू कर दिया है , जिससे कंपनी का मूल्य काफी कम हुआ है.
जेट एयेरवेज के लिए 10 मई है खास दिन
जेट एयरवेज की उड़ानें फिलहाल रद्द चल रही हैं. लकिन जल्द ही ये विमान फिर से उड़ान भर सकते हैं. 10 मई जेट एयरवेज के लिए काफी खास है. क्योंकि, इसी दिन जेट एयरवेज की किस्मत को लेकर दो बड़े फैसले होने है. पहला फैसला कंपनी की हिस्सेदार के लिए संभावित बोली की प्रक्रिया पूरी होगी. दूसरा फैसला विदेशी उड़ानों को लेकर होना है. एविएशन मंत्रालय जेट एयरवेज के विदेशी रूट्स के स्लॉट दूसरी एयरलाइन को दे सकते हैं. ऐसे में जेट एयरवेज के लिए यह बड़ा झटका हो सकता है.