यदि आपने जेट एयेरवेज से यात्रा करने के लिए टिकट लिया हुआ है तो आपके लिए यह खबर बेहद महत्वपूर्ण है. दरअसल आर्थिक तंगी से जूझ रही जेट ऐयरवेज ने शुक्रवार को अगले सोमवार तक के लिए अपनी सभी अंतरराष्ट्रीय उड़ानों को रद्द कर दिया है. खबरों के अनुसार विमानन कंपनी ने नगदी संकट को ध्यान में रखते हुए विमानों को रद्द करने का निर्णय लिया है.

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विमानन कंपनी के लिए बोली लगाने का समय खत्म

स्टेट बैंक के नेतृत्व वाले बैंकों के समूह की ओर से जेट एयरवेज के लिए नगदी का इंतजाम करने का प्रयास किया जा रहा है. हालांकि शुक्रवार को कंपनी की हिस्सेदारी की बिक्री के लिए आमंत्रित बोली की समय सीमा खत्म हो गई. फिलहाल बैंकों का समूह ही एयरलाइन के दैनिक परिचालन का सारा काम देख रहा है.

इन्होंने लगाई बोली

खबरों के मुताबिक बैंकों की ओर से आमंत्रित बोली के तहत यूएई की एत्तिहाद एयरवेज, एयरलाइन के संस्थापक नरेश गोयल, एयर कनाडा और कुछ अन्य निवेशकों ने एयरलाइन के लिये बोली लगाई है.

आर्थिक तंगी के चलते बढ़ रही मुश्किल

नगदी की कमी के चलत विमानन कंपनी के लिए परिचालन मुश्किल होता जा रहा है. विमानन कंपनी ने गुरुवार केा ही अपने अंतरराष्ट्रीय परिचालन को अस्थायी तौर पर निलम्बित करने की घोषणा की थी. दरअसल विमानों के पट्टे का किराया नहीं दे पाने के चलते कंपनी के 10 और विमानों परिचालन सेवाओं से बाहर हो गए थे. इसके कारण जेट एयरवेज ने पूर्वोत्तर भारत में परिचालन सेवाओं को रद्द करने की घोषणा की थी. एयरलाइन सूत्रों  के अनुसार ''नकदी की बहुत अधिक कमी के कारण जेट ने अंतरराष्ट्रीय परिचालन को निलंबित रखने के फैसले को सोमवार तक बढ़ाने का फैसला किया है.''

अंतरराष्ट्रीय परिचालन का का मुख्य केंद्र एम्सटर्डम है

जेट अंतरराष्ट्रीय क्षेत्र में विमान सेवायें देने वाली सबसे बड़ी घरेलू एयरलाइन रही है. उसके अंतरराष्ट्रीय परिचालन का एम्सटर्डम मुख्य केन्द्र रहा है. मंगलवार को पट्ट किराया का भुगतान नहीं होने के कारण एक एजेंट ने एम्सटर्डम में जेट का विमान अपने कब्जे में ले लिया. इसकी वजह से उस दिन जेट की एम्सटर्डम- मुबई उड़ान निरस्त हो गई. और भी कई उड़ानें रद्द की गई.

पीएमओ ने बुलाई बैठक

प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने जेट एयरवेज की स्थिति पर चर्चा करने के लिये आवश्यक मीटिंग बुलाई है . सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव नृपेंद्र मिश्रा इस बैठक की अध्यक्षता करेंगे. सरकार की सबसे बड़ी चिंता जेट एयरवेज के बंद होने से बड़ी संख्या में लोगों के बेरोजगार होने की है. इसके साथ ही भारतीय विमानन क्षेत्र की एक बड़ी कंपनी के बंद होने के चलते हवाई यात्रा महंगी होने की आशंका भी है. माना जा रहा है कि बैठक में इन सभी बिंदुओं पर विचार किया जाएगा.