Indians are the largest expatriate group in the world: प्रवासी भारतीयों की संख्या दुनिया में सबसे ज्यादा है जो दुनिया के अलग-अलग देशों में रह रहे हैं और ये ‘सबसे ज्यादा विविधता और जीवतंता’ वाले समुदायों में से एक है. संयुक्त राष्ट्र ने बताया कि वर्ष 2020 में करीब 1.8 करोड़ भारतीय अपने देश से दूर दुनिया के अलग-अलग देशों में रहते हैं और इस मामले में यह दुनिया का सबसे बड़ा प्रवासी समूह है. पीटीआई की खबर के मुताबिक, संयुक्त राष्ट्र ने बताया कि सबसे ज्यादा संख्या में प्रवासी भारतीय संयुक्त अरब अमीरात, अमेरिका और सऊदी अरब में रहते हैं.

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भारतीय प्रवासी आबादी का डिस्ट्रीब्यूशन पूरी दुनिया में है Distribution of Indian diaspora population all over the world

संयुक्त राष्ट्र के आर्थिक एवं सामाजिक मामलों के विभाग (डीईएसए) में जनसंख्या प्रभाग में जनसंख्या मामलों की अधिकारी क्लेर मेनोजी ने एक इंटरव्यू में कहा कि दुनिया में भारत की सबसे ज्यादा परा देशीय आबादी है. भारत के करीब 1.8 करोड़ लोग दुनिया के अलग-अलग देशों में रहते हैं. सबसे रोचक बात यह है कि भारतीय प्रवासी आबादी का डिस्ट्रीब्यूशन पूरी दुनिया में है. मेनोजी ने कहा कि कुछ परादेशीय आबादी वास्तव में एक देश या क्षेत्र तक केंद्रित है जबकि भारतीय प्रवासी सभी महाद्वीपों एवं क्षेत्रों -खाड़ी से लेकर अमेरिका तक, ऑस्ट्रेलिया से लेकर ब्रिटेन तक- में फैली हुई है. उन्होंने कहा कि यह दुनिया की सबसे विविधता युक्त और गतिशील समुदाय है.

सबसे ज्यादा भारतीय संयुक्त अरब अमीरात में हैं Most Indians are in the United Arab Emirates

संयुक्त राष्ट्र डीईएसए के जनसंख्या प्रभाग द्वारा शुक्रवार को जारी ‘अंतरराष्ट्रीय प्रवास-2020 रिपोर्ट के मुताबिक 1.8 करोड़ भारतीय अपने जन्मस्थान से दूर दूसरे देशों में रहते हैं. भारत के अलावा दूसरे देश जिनकी बड़ी आबादी विदेश में रहती है, उनमें मैक्सिको और रूस हैं. इन दोनों देशों की 1.1-1.1 करोड़ आबादी विदेश में रहती है. वहीं, एक करोड़ चीनी और 80 लाख सीरियाई भी दूसरे देशों रहते हैं.

विदेशों में रहने वाले भारतीयों में सबसे ज्यादा 35 लाख संयुक्त अरब अमीरात में रहते हैं जबकि 27 लाख भारतीय अमेरिका में और 25 लाख सऊदी अरब में रहते हैं. इनके अलावा ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, कुवैत, ओमान, पाकिस्तान, कतर और ब्रिटेन में भी भारतीय प्रवासियों की बड़ी संख्या है.

सबसे ज्यादा फायदा भारत को हुआ India benefited the most

रिपोर्ट के मुताबिक वर्ष 2000 से 2020 के बीच दुनिया के हर देश एवं क्षेत्र में विदेश से आनेवाले प्रवासियों की संख्या में वृद्धि हुई और इसका सबसे ज्यादा फायदा भारत को हुआ जिसकी विदेश में रहने वाली आबादी की संख्या में एक करोड़ की बढ़ोतरी हुई.

इसके बाद सीरिया, वेनेजुएला, चीन और फिलीपीन का स्थान आता है. संयुक्त राष्ट्र निकाय के जनसंख्या प्रभाग के निदेशक जॉन विलमोथ ने कहा कि भारत से प्रवास की मुख्य वजह रोजगार और पारिवारिक कारण रहे और जबरन प्रवास का प्रतिशत (करीब 10 प्रतिशत) कम रहा.

अमेरिका प्रवासियों का अब भी सबसे पसंदीदा America is still the most favorite of expatriates

अमेरिका प्रवासियों का अब भी सबसे पसंदीदा स्थल बना हुआ है और वर्ष 2020 में कुल 5.1 करोड़ अंतरराष्ट्रीय प्रवासी अमेरिका में थे जो विश्व में कुल अंतरराष्ट्रीय प्रवासियों का 18 प्रतिशत है. 1.6 करोड़ प्रवासियों के साथ जर्मनी दूसरे स्थान पर रहा जबकि सऊदी अरब, रूस और ब्रिटेन क्रमश: 1.3 करोड़, 1.2 करोड़, 90 लाख अंतरराष्ट्रीय प्रवासियों के साथ तीसरे, चौथे, पांचवे स्थान पर रहे. रिपोर्ट में कहा गया कि अंतरिम आकलन के मुताबिक कोविड-19 महामारी की वजह से वर्ष 2020 के मध्य में अंतरराष्ट्रीय प्रवासियों की संख्या की वृद्धि में करीब 20 लाख की कमी आई जो मध्य 2019 के अनुमान के मुताबिक 27 प्रतिशत कम है.