अगर आप घुमक्‍कड़ी के शौकीन हैं या किसी ऐसे पेशे से जुड़े हैं जिसमें अक्‍सर आपको ट्रैवल करने की जरूरत पड़ती है, तो आपको ट्रैवल इंश्‍योरेंस (Travel Insurance) के बारे में जरूर जानना चाहिए. ट्रैवल इंश्योरेंस आपकी यात्रा के दौरान कई तरह के जोखिम को कवर करता है और आपके सफर को सुरक्षित बनाने का काम करता है. ट्रैवल इंश्योरेंस भी कई तरह के होते हैं. आप जिस तरह का प्‍लान खरीदते हैं, आपको उसी तरह की सुविधाएं दी जाती हैं. जानिए ट्रैवल इंश्‍योरेंस किस तरह से आपके लिए मुश्किल समय में मददगार साबित हो सकता है. इसका प्रीमियम कैसे तय होता है और आपको इंश्‍योरेंस प्‍लान खरीदते समय किन बातों का खयाल रखना चाहिए.

ये हैं ट्रैवल इंश्‍योरेंस के फायदे

  • यात्रा के दौरान अगर आपकी तबीयत खराब हो जाती है तो ऐसे में आपकी ट्रैवल इंश्योरेंस पॉलिसी आपके काम आएगी. इसमें आपके अस्‍पताल के बिल, एंबुलेंस फीस आदि को कवर किया जाता है.
  • अगर यात्रा के दौरान आपका सामान चोरी हो जाता है तो इसके नुकसान की भरपाई भी ट्रैवल इंश्‍योरेंस के जरिए की जा सकती है. यहां तक कि पासपोर्ट या फिर कोई जरूरी डाक्यूमेंट के खोने पर भी आपको मदद मिल जाती है.
  • ट्रैवल इंश्योरेंस का एक फायदा ये भी है कि अगर किसी इमरजेंसी के कारण आपकी कनेक्टिंग फ्लाइट छूट जाती है और उसके चलते आपका पैसा खर्च होता है तो आप $2000 तक के कवरेज के साथ ट्रैवल इंश्योरेंस के तहत इसके लिए क्लेम फाइल कर सकते हैं.
  • अगर आपका क्रेडिट या डेबिट कार्ड दूसरे देश में खो जाए लेकिन ट्रांजैक्‍शन की सूचना आपको फिर भी मिल रही हो तो भी ट्रैवल इंश्‍योरेंस काम आ सकता है. इसकी मदद से चोरी की घटना की पहली रिपोर्ट करने के 12 घंटे पहले तक निकले गए पैसे वापस मिल सकते हैं . 
  • अगर आपने फ्लाइट बुक करवा ली है लेकिन आप किसी जरूरी वजह के चलते घूमने नहीं जा पा रहें है तो ट्रैवल इंश्‍योरेंस की मदद से आपको टिकट पर खर्च हुए पैसों का भुगतान कर दिया जाएगा. 
  • यात्रा के दौरान अगर आप किसी तरह की दुर्घटना के शिकार होते हैं, तो ट्रैवल इंश्‍योंरेस के जरिए आपको मदद मिल सकती है. Accidental Death, Permanent Disability को भी इसमें कवर किया जाता है.

कैसे तय होता है प्रीमियम

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गौर करने वाली बात ये है कि ये सुविधाएं आपके प्‍लान के हिसाब से तय होती हैं. आपकी ट्रिप कितने दिनों की है, सिंगल ट्रिप प्लान है, मल्टी ट्रिप प्लान है, स्टूडेंट्स प्लान है या सीनियर सिटीजन प्लान है, इन सभी प्‍लान के हिसाब से इनका प्रीमियम डिसाइड होता है और अलग-अलग सुविधाएं मिलती हैं. आप चाहें तो ट्रैवल इंश्योरेंस प्लान में अतिरिक्त कवर डलवा सकते हैं. लेकिन अतिरिक्त कवर्स के लिए प्रीमियम भी ज्यादा लगेगा. 

ऐसे करें पॉलिसी का चुनाव

अगर आप ट्रैवल इंश्‍योरेंस प्‍लान खरीदने का पूरा मन बना चुके हैं तो जरूरत के हिसाब से पॉलिसी का चुनाव करें. अपनी जरूरत के हिसाब से आपको क्‍या-क्‍या कवरेज चाहिए, उसके बारे में इंश्‍योरेंस एजेंट को बताएं और उसके हिसाब से ही प्‍लान दिखाने को कहें. उदाहरण के लिए- मान लीजिए आप भारत और विदेश, दोनों जगहों की यात्रा करते हैं, तो आपके प्‍लान में देश और विदेश यात्राएं दोनों ही यात्राओं का कवरेज होना चाहिए. अगर आप सिर्फ देश के अंदर ही ट्रैवल करते हैं, विदेश घूमने का फिलहाल कोई प्‍लान नहीं है, तो उस हिसाब से पॉलिसी का चुनाव करें.

इसके अलावा आपको इंश्योरेंस एजेंट से अपने मन में उठ रहे सभी संदेह और आशंका से जड़े सवाल जरूर करें. नियम और शर्तों को अच्‍छी तरह से समझ लें, ताकि बाद में दिक्‍कत न हो. पॉलिसी खरीदने से पहले ये जरूर जान लें कि यात्रा में किसी तरह का बदलाव करने पर क्या आपका प्रीमियम रिफंड के योग्य होगा या नहीं. ध्‍यान रखें कि ट्रैवल इंश्‍योरेंस में पहले से मौजूद बीमारी, युद्ध का रिस्क, आत्महत्या या उन्माद और खतरनाक खेल जैसी चीजें कवर नहीं होती हैं.

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