पेट्रोल-डीजल महंगा होने वाला है. पेट्रोल के दाम 80 रुपए प्रति लीटर को पार कर जाएंगे. क्रूड की चढ़ती कीमतों से पेट्रोल-डीजल के भाव में तेजी आने की आशंका है. एक रिपोर्ट की मानें तो पेट्रोल की कीमतें 80 रुपए के पार जा सकती है. वहीं, डीजल के दाम में भी आग लगने वाली है. डीजल 70 रुपए तक जाने की संभावना है. दरअसल, अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतें अपने 2 साल के उच्चतम स्तर पर है. 2017 के बाद पहली बार कच्चा तेल 70 डॉलर प्रति बैरल के आसपास पहुंच गया है. वहीं, सऊदी-ईरान संकट के चलते क्रूड में तेजी देखने को मिल रही है.

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क्या है इसके पीछे की वजह

क्रूड की कीमतों में तेजी की वजह सऊदी अरब की कंपनी सऊदी अरामको की यूनिट पर ड्रोन हमला है. हमले के बाद कंपनी ने कच्‍चे तेल का उत्‍पादन में हल्की गिरावट आई है. इससे विदेशी बाजार में ब्रेंट क्रूड का भाव 68 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया है. हालांकि, आने वाले दिनों में उत्पादन सामान्य होने की संभावना है. लेकिन, कीमतों में तेजी जारी रह सकती है.

2 साल की ऊंचाई पर कच्चा तेल

जुलाई 2017 में कच्चा तेल 62 डॉलर प्रति बैरल पहुंचा था. जून 2019 के बाद की बात करें तो कच्चे तेल की कीमत में 36 फीसदी का इजाफा हुआ है. डब्ल्यूटीआई क्रूड (यूएस वैस्ट टैक्सास इंटरमीडिएट) की कीमत भी इन दिनों 69 डॉलर प्रति बैरल के आसपास है. जून के बाद से डब्ल्यूटीआई क्रूड 30 फीसदी महंगा हुआ है. आसार हैं कि दिसंबर अंत तक कच्चे तेल की कीमतें 72 डॉलर प्रति बैरल के पार जा सकती है. ऐसे में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में कटौती के बजाए बढ़ने की उम्मीद है. 

एक्सपर्ट की नजर में बढ़ेंगे दाम

सीनियर एनालिस्ट अजय केडिया के मुताबिक, 2 साल में कच्चे तेल की कीमतें लगातार उतार-चढ़ाव रहा है. अब क्रूड फिर से 2 साल की ऊंचाई पर है तो इसका सीधा असर पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर पड़ेगा. उन्होंने कहा सऊदी अरामको पर ड्रोन हमले के बाद रोजाना 5.7 मिलियन बैरल की सप्लाई प्रभावित हुई है, जो कि दुनिया की कुल सप्लाई का 5% है. सप्लाई प्रभावित होने से कच्चे तेल की कीमतों में आगे और उछाल आने की संभावना है. अक्टूबर में ब्रेंट क्रूड का भाव 80 डॉलर/बैरल छू सकता है.

5 रुपए तक महंगा हो सकता है पेट्रोल

केडिया के मुताबिक, दूसरी तरफ डॉलर इंडेक्स में कमजोरी से भी कीमतों पर असर पड़ेगा. पिछले एक हफ्ते में रुपए में तेज उतार-चढ़ाव देखने को मिला है. लेकिन, वो पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर असर डालने के लिए काफी नहीं है. केडिया के मुताबिक, पेट्रोल-डीजल की कीमतों में 5 रुपए या उससे ज्यादा का इजाफा हो सकता है.

ट्रेड वॉर से भी संकट

अगर अमेरिका-चीन और सऊदी-ईरान के बीच ऐसे ही तनातनी जारी रहती है तो इसका सीधा असर ग्लोबल करेंसी पर पड़ेगा. इससे रुपया का भी कमजोर होना तय है. अगर रुपया कमजोर होगा और दूसरी तरफ क्रूड चढ़ेगा तो पेट्रोल-डीजल के दामों में तेजी जारी रह सकती है.