कोरोना वायरस (Coronavirus) के कहर से फाइनेंशियल मार्केट (Financial Market) के हालात बहुत नाजुक हैं. ऐसे में निवेशकों के लिए गोल्‍ड (Gold rates today) ही ऐसा ऑप्‍शन बचा है जो लंबे समय में अच्‍छा रिटर्न दे सकता है. 

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इंडिया बुलियन बुलियन एंड ज्वलर्स एसोसिएशन (IBAJ) की मानें तो RBI ने हाल में ब्‍याज दरों में जो बड़ी कटौती की है, उसका सबसे ज्‍यादा फायदा सोने को मिलेगा. आने वाले दिनों में इसकी कीमतों में जबर्दस्‍त तेजी देखने को मिल सकती है.

जानकारों की मानें तो पहले जब भी आर्थिक संकट गहराया है तब निवेशकों के लिए निवेश की पहली पसंद सोना ही रहा है. अगर इस बार भी ऐसा ही हुआ तो भारत में सोना 50,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के मनोवैज्ञानिक स्तर को पार कर सकता है.

शेयर बाजारों में मची उथल-पुथल के बीच सोने के भाव में भी भारी उतार-चढ़ाव देखा जा रहा है और बीते एक महीने से सोने का भाव अंतरराष्ट्रीय बाजार में 1,704 डॉलर से लेकर 1,450 डॉलर प्रति औंस के बीच रहा है. भारत के वायदा बाजार में भी बीते 1 महीने में सोने का भाव 38400 से लेकर 44,961 रुपये प्रति 10 ग्राम के बीच रहा है.

बाजार विशेषज्ञों का कहना है कि कोरोना संकट से निपटने के प्रयास में अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व समेत कई देशों के केंद्रीय बैंकों ने ब्याज दरों में कटौती की है, जिसका फायदा सोने को मिलेगा.

 

इंडिया बुलियन बुलियन एंड ज्वलर्स एसोसिएशन के नेशनल सेक्रेटरी सुरेंद्र मेहता का अनुमान है कि निकट भविष्य में भारत में सोने का भाव 50,000 रुपये से ऊपर जा सकता है और यह 52,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक के स्तर को छू सकता है.

केडिया एडवायजरी के डायरेक्टर अजय केडिया भी सोने में जबरदस्त तेजी की उम्मीद करते हैं. उन्होंने कहा कि अक्षय तृतीया पर अगर सोना 50,000 रुपये के स्तर को नहीं तोड़ पाया तो पहली तिमाही के आखिर में जून तक पीली धातु का भाव 50,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के ऊपर जरूर जा सकता है.

उन्होंने कहा कि "हाल के दिनों में शेयर बाजार में गिरावट के साथ सोने के भाव में भी गिरावट ठीक उसी प्रकार देखने को मिली, जिस प्रकार 2008 के वैश्विक वित्तीय संकट के दौरान मिली थी. लेकिन उसके बाद सोने में तेजी आई और 2011 में सोना रिकॉर्ड ऊंचाई पर जा पहुंचा. कॉमेक्स पर सोना छह सितंबर, 2011 को 1,911.60 डॉलर प्रति औंस तक उछला था."

उन्होंने कहा कि घेरलू बाजार में सोना 50,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के ऊपर जाएगा, जबकि अंतर्राष्ट्रीय बाजार में 2,000 डॉलर प्रति औंस तक की ऊंचाई देखने को मिल सकती है. उन्होंने कहा कि सोना इस समय निवेशकों का सुरक्षित साधन है, इसलिए इसकी लिवाली आने वाले दिनों में जोर पकड़ेगी.

इस बीच, सर्राफा कारोबारी देश में कोरोनावायरस के प्रकोप पर लगाम लगने की राह देख रहे हैं, क्योंकि 14 अप्रैल को लॉकडाउन समाप्त होने के बाद जब बाजार खुलेगा तो वे अक्षय तृतीया की तैयारी कर पाएंगे. देश में सोने की खरीदारी के लिए अक्षय तृतीया को शुभ मुहूर्त माना जाता है और हर साल इस अवसर पर लोग आभूषणों की खूब खरीददारी करते हैं. इस बार अक्षय तृतीया 26 अप्रैल को है.

मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज यानी MCX पर मंगलवार दोपहर 12.41 बजे सोने के जून वायदे में 43,381 रुपये प्रति 10 ग्राम पर कारोबार चल रहा था. वहीं, चांदी (Silver rates today) के मई अनुबंध में पिछले सत्र से 179 रुपये की तेजी के साथ 39,977 रुपये प्रति किलो पर कारोबार चल रहा था.

वहीं, अंतरराष्ट्रीय वायदा बाजार कॉमेक्स पर सोने के जून वायदे में पिछले सत्र से 8.05 डॉलर की कमजोरी के साथ 1,635.15 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार चल रहा था. वहीं, चांदी के मई अनुबंध में पिछले सत्र से 1.14 फीसदी की तेजी के साथ 14.29 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार चल रहा था.