ईपीएफओ के नियमों के मुताबिक पीएफ अकाउंट में कर्मचारी की जमा की गई राशि का कुछ हिस्‍सा उसके पेंशन अकाउंट (EPS Account) में भी जाता है.  ये पैसा कर्मचारी के रिटायर होने के बाद पेंशन के रूप में हर माह दिया जाता है. लेकिन आप पेंशन के लिए पात्र हैं या नहीं, आपको पेंशन का कितना पैसा मिलेगा ? ये इस पर निर्भर करता है कि आपने नौकरी कितने सालों तक की है और नौकरी के दौरान आपका कितना पैसा पीएफ अकाउंट में जमा हुआ है. अगर आपका पैसा भी हर महीने पीएफ अकाउंट में जाता है, तो यहां जानिए अपने फायदे की बात कि कितने सालों की नौकरी के बाद आप पेंशन के हकदार बनते हैं और इसके लिए शर्तें क्‍या हैं?

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कैसे कैलकुलेट होती है पेंशन

हर कर्मचारी की बेसिक सैलरी+डीए का 12 प्रतिशत हिस्‍सा हर महीने पीएफ अकाउंट में जाता है. जिसमें से 8.33 प्रतिशत हिस्‍सा उसके पेंशन अकाउंट में जाता है और 3.67 प्रतिशत हर महीने ईपीएफ में जाता है. पेंशन अकाउंट में साल दर साल जमा यही पैसा इकट्ठा होने के बाद रिटायरमेंट के बाद उसे पेंशन के तौर पर मिलता है. पीएफ पेंशन की कैलकुलेशन PF में पेंशन राशि, सदस्य के पेंशन योग्य वेतन और कितने साल नौकरी की है, इस पर निर्भर करती है. अपनी पेंशन को कैलकुलेट करने के लिए आप इस फॉर्मूले का इस्‍तेमाल कर सकते हैं - पेंशन योग्य वेतन X नौकरी के कुल साल /70

 

पेंशन के लिए पात्रता कैसे चेक करें

  • पेंशन लेने के लिए सबसे पहली शर्त तो है कि आप EPFO के सदस्य होने चाहिए.
  • इसके लिए आपका कम से कम 10 वर्ष तक नौकरी करना अनिवार्य है.  कर्मचारी की मौत होने के बाद पेंशन परिवारीजनों को मिलती है.
  • पेंशन पाने के लिए आपका 58 साल का होना जरूरी है. हालांकि आप 50 वर्ष की आयु होने पर ईपीएस से पैसे निकालना शुरू कर सकते हैं, लेकिन वो पेंशन कम होगी. इसके लिए फॉर्म 10D भरना होगा.
  • इसके अलावा आप 60 साल की उम्र तक यानी दो साल के लिए अपनी पेंशन को स्थगित भी कर सकते हैं, इसके बाद आपको हर साल 4 प्रतिशत की अतिरिक्त दर से पेंशन मिलेगी.