Real Estate News: रेडी टू मूव फ्लैट देश में खरीदारों की पहली पसंद है. घर खरीदने की प्लानिंग कर रहे करीब 80 फीसदी लोग रेडी टू मूव मकान या ऐसे फ्लैट खरीदना चाहते हैं जो लगभग बन चुके हैं यानी जिनका कंस्ट्रक्शन लगभग पूरा होने वाला है. जबकि सिर्फ 20 फीसदी ग्राहक नए शुरू होने वाली प्रोजेक्ट में फ्लैट खरीदने चाहते हैं. सीआईआई यानी Confederation of Indian Industry और संपत्ति सलाहकार एनरॉक के एक सर्वे में ये बात सामने आई है. सर्वे के मुताबिक घर खरीदने वाले संभावित ग्राहक सबसे पहले कीमत को तवज्जो देते हैं उसके बाद डेवलपर की विश्वसनीयता. वहीं इसके बाद प्रोजक्ट का डिजाइन और उसकी जगह उनके लिये महत्वपूर्ण होता है.

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CII और एनरॉक का सर्वे

सीआईआई और एनरॉक ने इस साल जनवरी से जून के दौरान यह ऑनलाइन सर्वे किया जिसमें 4,965 लोगों ने भाग लिया. इसमें पाया गया कि 32 फीसदी संभावित घर खरीदारों की पसंद पहले से तैयार घर खरीदने की है. वहीं 24 फीसदी खरीदार ऐसी प्रापर्टी खरीदने के लिए तैयार हैं, जो छह महीने में बन कर तैयार हो जाएगी. 23 फीसदी लोग एक साल के भीतर तैयार होने वाली संपत्तियां खरीदने से भी गुरेज नहीं करेंगे. सर्वे में सिर्फ 21 फीसदी लोगों ने कहा कि वे सिर्फ नए शुरू होने वाले प्रोजेक्ट में फ्लैट खरीदना चाहेंगे.

कोरोना ने बदली प्राथमिकता

सीआईआई और एनरॉक ने कहा कि कोरोना महामारी ने घर खरीदने वाले लोगों की प्राथमिकताओं को महत्वपूर्ण रूप से बदल दिया है, जिसका मुख्य कारण कोरोना की दूसरी लहर रही है. एनरॉक ने एक बयान में कहा, ‘‘पहली बार किफायती आवास लोगों की सबसे कम प्राथमिकता है. सर्वेक्षण में 34 फीसदी से ज्यादा खरीदारों ने उन प्रापर्टी को खरीदने पर ध्यान केंद्रीत किया है, जिनकी कीमत 90 लाख से 2.5 करोड़ रुपये के बीच है.’’ सर्वेक्षण में देखा गया कि 35 फीसदी खरीदारों ने 45 से 90 लाख रुपये के बीच की संपत्ति खरीदने की इच्छा जाहिर की है. सिर्फ 27 फीसदी खरीदारों ने किफायती (45 लाख रुपये से नीचे) प्रापर्टी खरीदने की इच्छा जाहिर की.

इससे पिछले साल की दूसरी छमाई में किये गए सर्वेक्षण में करीब 36 फीसदी घर खरीदने की इच्छा रखने वालों ने किफायती प्रापर्टी खरीदने पर जोर दिया था. सर्वे में भाग लेने वाले लोगों के मुताबिक आकर्षक दाम उनके लिये सबसे ज्यादा मायने रखता है. उसके बाद प्रोजेक्ट के डेवलपर की साख दूसरी सबसे बड़ी प्राथमिकता है. सर्वेक्षण में 77 फीसदी लोगों ने यह राय जाहिर की है.

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