Covid19 Vaccine booster dose: देश में कोविड19 के बढ़ते मामलों के बीच केंद्र सरकार बूस्‍टर वैक्‍सीन पर जल्‍द ही एक अहम फैसला ले सकती है. इस फैसले में बूस्‍टर डोज के लिए अंतर को कम किया जा सकता है. नेशनल टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ऑन इम्‍युनाइजेशन (NTAGI) ने Covid-19 वैक्सीन के बूस्टर डोज के लिए अंतर घटाकर 6 महीने करने का सुझाव दिया है. वहीं, NTAGI ने Monkeypox के दुनियाभर में बढ़ते मामलों और देश में उसके हिसाब से अलर्ट रहने की जरूरत पर जोर दिया है.

अलग-अलग वैक्‍सीन की booster dose 

COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

NTAGI ने सुझाव दिया है कि 6 महीने में बूस्टर वैक्सीन लगाई जानी चाहिए. स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय जल्‍द इस बारे में फैसला कर सकता है. बैठक में अलग अलग वैक्सीन डोज को बूस्टर के तौर पर इस्तेमाल करने पर भी विचार किया गया. हालांकि, इसपर आम राय न होने के चलते कोई फैसला नहीं लिया गया

NTAGI की स्‍टैंडिंग टेक्निकल सब-कमिटी (STSC) की गुरुवार को एक हाईलेवल बैठक हुई. इस बैठक में वैक्‍सीन की दूसरी डोज और प्रीकॉशनरी डोज के बीच के अंतर को 9 महीने से घटाकर 6 महीने करने की सिफारिश की गई.

Zee Business Hindi Live TV यहां देखें

बच्‍चों में Mortality Rate न के बराबर

NTAGI की बैठक में 12 साल से कम उम्र के बच्चों को वैक्सीन लगाने पर चर्चा हुई. NTAGI सदस्यों ने कहा कि स्टडी में बच्चों की Mortality Rate (मृत्‍यु दर) लगभग नहीं के बराबर है. ऐसे में वैक्सीन अभी शुरू करने की जरूरत नहीं लगती है. बता दें कि 18 साल से ज्यादा उम्र का हर व्‍यक्ति जिसे वैक्सीन की दोनों खुराक मिल चुकी हैं, वो बूस्टर डोज के लिए योग्य है.