भारतीय वायुसेना (IAF) को पहला राफेल (Rafale) फाइटर प्लेन मिल गया है. खुद रक्षामंत्री राजनाथ सिंह राफेल (Rafale) की फैक्ट्री में पहुंचकर इस फाइटर प्लने को रिसीव किया. राजनाथ सिंह फ्रांस की वायुसेना के फाइटर प्लेन में सवार होकर राफेल (Rafale) की फैक्ट्री में पहुंचे हैं. उन्होंने यहां फैक्ट्री का जायजा लिया. फ्रांस ने औपचारिक रूप से भारत को पहला राफेल (Rafale) (Rafale) सौंप दिया.

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राफेल (Rafale) रिसीव करने से पहले रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि तय समय पर राफेल (Rafale) मिलना खुशी की बात है. भारतीय सुरक्षा बलों के लिए आज ऐतिहासिक दिन है. राफेल (Rafale) के आने से भारत की शक्ति बढ़ेगी. इस डील से भारत और फ्रांस के रिश्ते को एक नया मुकाम मिलेगा. 

पढ़िए राफेल डील की बड़ी बातें...

रक्षामंत्री करेंगे शस्त्र पूजा

खबरों के अनुसार रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह इस बार दशहरे पर फ्रांस में ही शस्त्र पूजन करेंगे. वे फ्रांस में ही राफेल लड़ाकू जहाज के साथ शस्त्र पूजा करेंगे. 9 अक्टूबर को राजनाथ सिंह सीनियर वायु सेना अधिकारियों के साथ पेरिस जाएंगे. उनके साथ वाइस चीफ ऑफ एयर स्टॉफ एयर मार्शल एचएस अरोड़ा भी होंगे. फ्रांस से भारत को मिलने जा रहे इस लड़ाकू विमान में कई भारत में बने हुए उपकरण भी लगाए गए हैं.

पायलटों को पहले ही मिल चुकी है ट्रेनिंग

भारतीय पायलटों की एक टीम को फ्रांस वायुसेना ने पहले ही राफेल विमान उड़ाने की ट्रेनिंग दे दी है. इंडियन एयर फोर्स 2020 तक अपने 24 और पायलटों को इन जहाजों को उड़ाने की ट्रेनिंग देगा. भारतीय एयर फोर्स अपने हरियाणा के अंबाला और पश्चिम बंगाल के हाशिमारा एयरबेस पर राफेल विमानों के एक एक स्क्वाड्रन तैनात करेगी.

फ्रांस से मिलने हैं 36 जहाज

भारत और फ्रांस सरकार के बीच हुए समझौते के तहत डसॉल्ट एविएशन भारत को 36 राफेल विमान देगी.ये समझौता सितंबर, 2016 में किया गया था. सरकार की कोशिश थी कि ये विमान जल्दी से हैंडओवर कर दिए जाएं, क्योंकि वायु सेना की तरफ से इन्हें जल्दी से सेना में शामिल करने का दबाव था.