अगर आपने नवंबर 2016 में नोटबंदी के बाद बैंक में कैश जमा कराया है लेकिन रिटर्न फाइल नहीं किया है तो आयकर विभाग (IT Dept) ने खबरदार किया है. वे समय रहते पेनाल्‍टी के साथ रिटर्न फाइल कर सकते हैं. केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के चेयरमैन सुशील चंद्रा के मुताबिक आयकर विभाग नोटबंदी के बाद रिटर्न (Return) दाखिल नहीं करने वाले 80,000 लोगों के ‘पीछे लगा’ है.

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हालांकि, कर विभाग द्वारा इन लोगों को रिटर्न दाखिल करने का नोटिस भेजा जा चुका है, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया है. विभाग ने 80 लाख ऐसे लोगों की पहचान की है जिन्होंने पिछले 3 साल के दौरान अपना रिटर्न दाखिल किया है, लेकिन इस बार अब तक रिटर्न दाखिल नहीं किया है. 

नोटबंदी के बाद कर आधार बढ़ाने में मदद

चंद्रा ने कहा कि नवंबर, 2016 में नोटबंदी के बाद वास्तव में देश में कर आधार बढ़ाने में मदद मिली है. इसके अलावा इससे प्रत्यक्ष करों से देश का शुद्ध राजस्व बढ़ा है. उन्होंने कहा कि पिछले साल प्रत्यक्ष करों का योगदान 52 प्रतिशत तथा अप्रत्यक्ष करों का 48 प्रतिशत था. कई साल बाद ऐसा हुआ है जबकि प्रत्यक्ष करों का योगदान अप्रत्यक्ष करों से अधिक रहा है.

 

नोटबंदी से पैसा लोगों की आमदनी पता चली

चंद्रा ने कहा कि आपके इस सवाल कि नोटबंदी से क्या मदद मिली, मैं कहूंगा कि पैसा बैंक खातों में आ गया. ऐसे में हमारे लिए यह पता लगाना आसान हो गया कि कितने लोगों ने नकदी जमा कराई जबकि उसके बारे में रिटर्न जमा नहीं कराया. 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नोटबंदी की घोषणा के बाद विभाग द्वारा की गई प्रवर्तन कार्रवाई के बारे में सीबीडीटी प्रमुख ने कहा कि उन्होंने बड़ी संख्या में लोगों को ईमेल और एसएमएस भेजे. इन लोगों ने उसके बाद रिटर्न दाखिल किए. 

तीन लाख लोगों को नोटिस भेजे गए

चंद्रा ने कहा कि नोटबंदी के बाद रिटर्न दाखिल नहीं करने वाले तीन लाख लोगों को नोटिस भेजे गए. ये सांविधिक नोटिस थे. उसके बाद 2.25 लाख लोगों ने रिटर्न जमा कराया. 80,000 मामलों में रिटर्न जमा नहीं हुआ. विभाग ऐसे ही मामलों के पीछे लगा है.

एजेंसी इनपुट के साथ