india gdp forecast 2021-22 : स्विस ब्रोकरेज कंपनी यूबीएस सिक्योरिटीज (UBS Securities) ने उम्मीद से ज्यादा तेज पुनरुद्धार, उपभोक्ताओं का भरोसा बढ़ने और खर्च में बढ़ोतरी का हवाला देते हुए चालू वित्त वर्ष के लिए अपने ग्रोथ रेट अनुमान में बड़ा संशोधन किया है. पीटीआई की खबर के मुताबिक, कंपनी ने अब अपने अनुमान को सितंबर के 8.9 प्रतिशत से बढ़ाकर 9.5 प्रतिशत कर दिया है.

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वित्त वर्ष 2022-23 के लिए लगाया यह अनुमान

खबर के मुताबिक, ब्रोकरेज कंपनी ने वित्त वर्ष 2022-23 में अर्थव्यवस्था की ग्रोथ रेट 7.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया, जो वित्त वर्ष 2023-24 में छह प्रतिशत रह सकती है. वित्त वर्ष 2022-23 के आखिर तक निम्न ब्याज दर की व्यवस्था से होने वाले फायदे खत्म होने के अनुमान के चलते 2023-24 में ग्रोथ रेट में कमी की बात कही गई. केंद्रीय बैंक अगले वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में नीतिगत दरों (policy rate) में 50 आधार अंकों की बढ़ोतरी कर सकता है.

रिजर्व बैंक ने भी 9.5 प्रतिशत का लगाया है अनुमान

रिजर्व बैंक ने भी चालू वित्त वर्ष में 9.5 प्रतिशत जीडीपी वृद्धि का अनुमान लगाया है, जबकि औसत अनुमान 8.5 से 10 प्रतिशत के बीच है. सरकार का अनुमान करीब 10 प्रतिशत है. वित्त वर्ष 2021-22 की जून तिमाही में जीडीपी (GDP) 20.1 प्रतिशत बढ़ी.

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आईएफएफ ने भी 9.5 प्रतिशत का रखा अनुमान

भारत की विकास दर को लेकर अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने भी अपने ताजा अनुमानों में कहा है कि भारत चालू वित्त वर्ष में 9.5 प्रतिशत की दर से ग्रो करेगा. इसके अगले वित्तवर्ष यानी 2022-23 में यह 8.5 प्रतिशत की ग्रोथ रेट साथ आगे बढ़ेगा. वैश्विक अर्थव्यवस्था के साल 2021 में 5.9 प्रतिशत की दर से बढ़ने का अनुमान है. साल 2022 में यह 4.9 प्रतिशत रहने का अनुमान है.