BPCL के लिए बोली की तारीख आगे बढ़ी, पूरी हिस्सेदारी बेच रही है सरकार
सरकार फंड जुटाने के लिए सरकारी कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी बेच रही है. हालांकि Coronavirus के कारण इसमें दिक्कत आ रही है.
सरकार फंड जुटाने के लिए सरकारी कंपनियों में अपनी हिस्सेदारी बेच रही है. हालांकि Coronavirus के कारण इसमें दिक्कत आ रही है. इस कारण सरकार ने देश की दूसरी सबसे बड़ी तेल रिफाइनरी कंपनी भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लि. (BPCL) के लिए बोली लगाने की अंतिम तारीख दो महीने और बढ़ाकर 30 सितंबर 2020 कर दी है. यह तीसरा मौका है जबकि सरकार ने BPCL के लिए बोली लगाने की तारीख को आगे बढ़ाया है.
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले साल नवंबर में सरकार को BPCL में अपनी समूची 52.98 प्रतिशत हिस्सेदारी बेचने की इजाजत दी थी. हालांकि, बीपीसीएल के लिए बोलियां सात मार्च को ही मांगी गईं. पहले कंपनियों की बोली जमा कराने की तारीख दो मई थी, लेकिन 31 मार्च को इसे बढ़ाकर 13 जून किया गया. 26 मई को इसे बढ़ाकर 31 जुलाई किया गया. अब इसे बढ़ाकर 30 सितंबर कर दिया गया है.
निवेश और लोक संपत्ति प्रबंधन विभाग (Dipam) के मुताबिक बोली लगाने की इच्छुक इकाइयों के आग्रह के बाद बोली जमा कराने की तारीख को बढ़ाकर 30 सितंबर, 2020 किया जा रहा है. सरकार ने BPCL में अपनी समूची हिस्सेदारी को बेचने का प्रस्ताव किया है.
Zee Business Live TV
सरकार के पास कंपनी के 114.91 करोड़ शेयर हैं जो कंपनी की 52.98 प्रतिशत हिस्सेदारी के बराबर हैं. इसके अलावा खरीदार को कंपनी का प्रबंधन भी सौंपा जाएगा. हालांकि इसमें कंपनी की नुमालीगढ़ रिफाइनरी में 61.65 प्रतिशत हिस्सेदारी शामिल नहीं है. नुमालीगढ़ रिफाइनरी में हिस्सेदारी की बिक्री सार्वजनिक क्षेत्र की तेल और गैस कंपनी को होगी.