जल्द ही अपना भी डिजिटल रुपया (Digital Rupee) होगा. आपके लेन-देन का तरीका बदल जाएगा. रुपया अब पॉकेट में रखने तक सीमित नहीं होगा. जेब से निकलकर वर्चुअल वर्ल्ड में सर्कुलेट होगा. ये आपको जेब में रखने के लिए नहीं मिलेगा. प्रिंट भी नहीं होगा. बल्कि टेक्नोलॉजी के जरिए आपके काम आएगा. जैसे- क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Cryptocurrency Bitcoin)... जिसका क्रेज हर किसी के सिर चढ़कर बोल रहा है. वैसा ही होगा हमारा अपना डिजिटल रुपया... अच्छी बात ये है कि इसे हमारी सरकार, RBI रेगुलेट करेगा. इसलिए पैसा डूबने का खतरा नहीं होगा.

साल के अंत तक आएगी डिजिटल करेंसी

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RBI ने मॉनिटरी पॉलिसी का ऐलान किया. रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया गया. लेकिन, आपके काम की बहुत दिलचस्प बात सामने निकल कर आई. पिछले कुछ साल से वर्चुअल करेंसी (Virtual Currency), डिजिटल करेंसी जैसे नाम सुन रहे होंगे. अब तैयार रहिए क्योंकि, RBI अपनी डिजिटल करेंसी पर काम कर रहा है और साल के अंत तक इसका मसौदा भी तैयार हो जाएगा. RBI Governor शक्तिकांता दास ने कहा कि डिजिटल करेंसी का मॉडल साल के अंत तक आ जाएगा. 

टेक्नोलॉजी और डिस्ट्रीब्यूशन पर चल रहा है काम

डिजिटल करेंसी (Indian Digital Currency) की टेक्नोलॉजी और डिस्ट्रीब्यूशन पर काम चल रहा है. ये कैसे काम करेगी इसका फ्रेमवर्क भी तैयार हो रहा है. हाल ही में RBI के डिप्टी गवर्नर टी रबी शंकर ने विधि सेंटर फॉर लीगल पॉलिसी के वेबिनार में कहा था कि भारत को भी डिजिटल करेंसी की जरूरत है. यह बिटकॉइन जैसी प्राइवेट वर्चुअल करेंसी यानी क्रिप्टोकरेंसी में निवेश से होने वाले नुकसान से बचाएगी. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि रिजर्व बैंक इस पर काम कर रहा है. RBI ने साफ कर दिया है कि प्राइवेट वर्चुअल करेंसी को लेकर उसने सरकार को अपनी चिंताएं बता दी हैं.

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सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) हो सकता है नाम

क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) के जाल से बचाने के लिए सेंट्रल बैंक यानि RBI अपनी डिजिटल करेंसी इंट्रोड्यूस करेगा. इसका नाम CBDC- सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी हो सकता है. हालांकि, इसके नाम पर अभी फैसला नहीं हुआ है. डिजिटल करेंसी का फायदा ये होगा कि इससे डिजिटली लेन-देन कर सकेंगे. 

कैसे काम कर सकता है Digital Rupee?

अभी इसके काम करने के तरीके को लेकर कुछ स्पष्ट नहीं है. अगर सूत्रों की मानें सबसे पहले सेंट्रल बैंक-RBI डिजिटल करेंसी जारी करेगा. ये आपको मिलेगी. आप जिसे पेमेंट करना चाहेंगे उसे इससे पेमेंट कर सकेंगे और उसके अकाउंट में ये पहुंच जाएगी. हालांकि, इसके लिए न कोई वॉलेट होगा और न ही कोई बैंक अकाउंट. ये बिल्कुल कैश की तरह काम करेगी, लेकिन टेक्नोलॉजी के जरिए डिजिटल काम करेगी. एक तरह से कैश का इलेक्ट्रॉनिक रूप होगा.

क्रिप्टोकरेंसी से कैसे अलग होगी?

क्रिप्टोकरेंसी पूरी तरह से प्राइवेट है. इसे कोई मॉनिटर नहीं करता और किसी सरकार या सेंट्रल बैंक का कंट्रोल नहीं होता. ऐसी करेंसी गैरकानूनी होती हैं. लेकिन, आरबीआई जिस करेंसी पर काम कर रहा है, वो पूरी तरह से RBI ही रेगुलेट करेगा. सरकार की मंजूरी होगी. डिजिटल रुपया की क्वांटिटी की भी कोई सीमा नहीं होगी. जैसे बिटकॉइन की होती है.