सार्वजनिक क्षेत्र के इलाहाबाद बैंक ने वाह्य मानक आधारित कर्जों के लिए ब्याज 0.40 प्रतिशत कम करने की घोषणा की.बैंक ने शेयर बाजार को बताया कि बैंक की परिसंपत्ति देनदारी प्रबंधन समिति (एएलसीओ) ने वाह्य मानक पर आधारित उत्पादों (कर्जों) के लिए ब्याज दर संशोधित करने का फैसला किया है, जो 31 मार्च 2020 से प्रभावी होगा.

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आरबीआई ने रेपो दर को 5.15 प्रतिशत पर अपरिवर्तित रखा है लेकिन मुंबई अंतरबैंक पेशकश दर (मिबोर) का तीन माह का औसत 6.15 प्रतिशत से घटाकर 5.75 प्रतिशत वार्षिक पर आ गया है.

ये बैंक पहले ही घटा चुके हैं दरें

बता दें कि इससे पहले सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक ऑफ बड़ौदा (Bank of baroda) ने एक साल की अवधि पर आधारित उधारी दर में यानी MCLR में 0.10 प्रतिशत की कटौती की घोषणा की थी.  6 फरवरी को भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने मौद्रिक समीक्षा पॉलिसी में नीतिगत ब्याज दर यानी रेपो रेट (repo rate) में कोई बदलाव नहीं किया. रेपो रेट इस वक्त 5.15 प्रतिशत है. रेपो रेट वह ब्याज दर है जिस पर भारतीय रिजर्व बैंक कॉमर्शियल बैंकों (commercial banks) को उधार देता है. 

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इलेक्ट्रानिक उत्पादों के लिए सस्ता लोन

भारतीय स्टेट बैंक (State Bank of India) इलेक्ट्रानिक उत्पादों को फाइनेंस करने के क्षेत्र में भी बड़ा कदम बढ़ाया है. कंपनी ने इलेक्ट्रानिक उत्पाद बनाने वाली कंपनी रियलमी (Realme) के उत्पादों को फाइनेंस करने के लिए कंपनी से समझौता किया है. कंपनी के हुए बैंक के इस समझौते के तहत SBI रियलमी के उत्पादों के लिए फाइनेंस उपलब्ध कराएगी. SBI’s electronic lending product (e-DFS) स्कीम के तहत बैंक रियलमी के उत्पादों की बिक्री के लिए कम ब्याज दरों, बिना मार्जिन और आसान शर्तों पर फाइनेंस उपलब्ध कराएगा. SBI के MD पीके गुप्ता के मुताबिक realme से हुए इस समझौते से कंपनी के डिस्ट्रीब्यूटर्स और डीलर्स के नेटवर्क को इनवेंट्री खत्म करने में मदद मिलेगी. बैंक बेहद सस्ती दरों पर इन उत्पादों को फाइनेंस करेगा.