जेट एयरवेज के लिए बोली सौंपने के आखिरी दिन एतिहाद एयरवेज ने एक भारतीय साझेदार के साथ मिलकर अपनी बोली सौंपी है. शुक्रवार को जेट एयरवेज के लिए बोली लगाने की आखिरी तरीख थी और दोपहर तक कोई भी क्वालीफाइड बोली नहीं आई थी. ऐसे में शाम तक एतिहाद की बोली आने को जेट एयरवेज के लिए बहुत बड़ी राहत माना जा रहा है. ऐसा इसलिए है क्योंकि एतिहाद के रूप में जेट के लिए एकमात्र ऐसी बोली है, जो एयरलाइंस बिजनेस को समझती है और जो जेट एयरवेज के काम करने के तरीके को समझती है. इस तरह एतिहाद सीरियस बोलीदाता है. जेट एयरवेज में फिलहाल एतिहाद एयरवेज की 24 प्रतिशत हिस्सेदारी है.

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एतिहाद के अलावा तीन सीधी बोलियां भी एसबीआई के पास आईं हैं. इन सीधी बोलियां ने पहले एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट में हिस्सा नहीं लिया था. इनके बारे में बैंक बाद में विचार करेगा कि क्या वे बोली की शर्तों को पूरा करते हैं या नहीं.

एतिहाद की बोली से एक सकारात्मक माहौल बना है. एयर इंडिया के पूर्व ईडी जितेंद्र भार्गव ने जी बिजनेस को बताया, 'एतिहाद जेट एयरवेज के ऑपरेशन से परिचित हैं. सबसे बड़ी बात है कि अबू धाबी एतिहाद एयरलाइंस का हब है और उसने जेट एयरवेज के जरिए भारतीय बाजारों का पूरी तरह फायदा उठाया है. ऐसे में एतिहाद के लिए जेट काफी फायदेमंद है.'

उन्होंने कहा कि एतिहाद एक सीरियस प्लेयर है, लेकिन अब देखना होगा कि बोली में क्या है. जेट एयरवेज के परिचालन शुरू करन के बारे में उन्होंने कहा, 'जब जेट का रिवाइवल होगा, तो उसमें समय लगेगा. सबसे बड़ा सवाल ये है कि जेट एयरवेज कब तक उड़ान शुरू कर पाएगी.'