GPF: सरकारी कर्मचारियों को मिलता है ब्याज मुक्त लोन, कौन ले सकता है फायदा? PF, PPF से कैसे है अलग
Written By: ज़ीबिज़ वेब टीम
Mon, Apr 19, 2021 03:12 PM IST
जनरल प्रोविडेंट फंड यानी GPF भी एक तरह का प्रोविडेंट फंड (PF) अकाउंट ही है लेकिन यह हर तरह के इंप्लॉइज के लिए नहीं है. GPF का फायदा केवल सरकारी कर्मचारियों को ही मिलता है, वे भी उन सरकारी कर्मचारियों को जिनकी नियुक्ति 1 जनवरी 2004 से पहले हुई है. इस स्कीम के तहत सरकारी कर्मचारियों को रिटायरमेंट के समय एक अच्छा खासा फंड मिलता है और यह रकम पूरी तरह टैक्स फ्री होती है. GPF का एक फायदा यह भी है कि सरकारी कर्मचारी जरूरत के समय इस फंड से बिना ब्याज का लोन भी ले सकता है. GPFके तहत सरकारी कर्मचारियों को अपनी सैलरी का एक निश्चित हिस्सा डालना होता है. सरकारी कर्मचारियों के एक निश्चित वर्ग के लिए GPF में योगदान करना अनिवार्य है. इसमें कर्मचारी और सरकार 6-6 फीसदी का कंट्रीब्यूशन करते हैं.
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GPF की कुछ खासियतें
GPF की कुछ खासियतें GPF अकाउंट में सरकारी कर्मचारी को इंस्टॉलमेंट में एक निश्वित वक्त तक योगदान देना होता है. इसमें अकाउंट होल्डर GPF खोलते वक्त नॉमिनी भी बना सकता है. अकाउंट होल्डर को रिटायरमेंट के बाद इसमें जमा पैसों का भुगतान किया जाता है, वहीं अगर अकाउंट होल्डर को कुछ हो जाए तो नॉमिनी को भुगतान किया जाता है.GPF पर ब्याज की दरें स्मॉल सेविंग्स स्कीम्स की तरह हर तीन महीने के बाद रिवाइज होती हैं. मौजूदा अक्टूबर-दिसंबर 2020 तिमाही के लिए GPF पर ब्याज दर 7.1 फीसदी सालाना तय की गई है.
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GPF: लोन की भी सुविधा
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PF, PPF से कैसे है अलग
प्रोविडेंट फंड (PF) PF अकाउंट किसी भी इंप्लॉई का हो सकता है. फिर वह सरकारी नौकरी में हो या प्राइवेट सेक्टर में काम कर रहा हो. पीएफ अकाउंट इंप्लॉयर द्वारा खोला जाता है और इंप्लॉई व इंप्लॉयर दोनों की ओर से 12-12 फीसदी का योगदान दिया जाता है. इंप्लॉयर के 12 फीसदी में से 8.33 फीसदी इंप्लॉई की पेंशन में जाता है. इंप्लॉई अपने PF फंड को जरूरत पड़ने पर विदड्रॉल कर सकता है.
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