मिशन वैक्सीनेशन पर मोदी का ऐक्शन, पिछले 2 दिन में 5 बड़े कदम
Written By: ज़ीबिज़ वेब टीम
Tue, Apr 20, 2021 02:16 PM IST
कोरोना महामारी की बेकाबू दूसरी लहर के बीच देश में वैक्सीनेशन की रफ्तार न रुकने पाए, इसके लिए मोदी सरकार ने बीते 2 दिन में 5 बड़े कदम उठाए हैं. इसमें वैक्सीनेशन का दायरा 18 साल से अधिक उम्र वर्ग के लोगों के बढ़ाना और वैक्सीन बनाने वाली देश की दो प्रमुख कंपनियों को 4500 करोड़ रुपये की सप्लाई क्रेडिट मंजूर करना शामिल है. प्रधानमंत्री मोदी कोविड19 महामारी पर काबू पाने और वैक्सीनेशन प्रोग्राम को रफ्तार देने के लिए खुद विशेषज्ञों के साथ अहम बैठकें कर रहे हैं. देश में कोरोना की दूसरी लहर का आलम यह है कि बीते कुछ दिनों से रोज 2.50 लाख से अधिक संक्रमण के नए मामले सामने आ रहे हैं. कोविड19 से रिकवरी रेट भी घटकर 85.56 फीसदी पर आ गया है. बहरहाल, अब ये देखना है कि केंद्र सरकार के इन कदमों का कोरोना पर काबू पाने की कोशिशों में कितना असर दिखेगा.
1/5
18 साल से ऊपर सभी का वैक्सीनेशन
कोरोना महामारी की चुनौती के बीच मोदी सरकार ने वैक्सीनेशन प्रोग्राम को लेकर 19 अप्रैल को एक बेहद अहम फैसला किया है. इसके तहत, केंद्र सरकार ने 1 मई से 18 साल से ज्यादा के सभी लोगों को कोरोना वैक्सीन लगाने की अनुमति दे दी है. प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में हुई एक अहम बैठक में कोरोना वैक्सीनेशन के तीसरे चरण का एलान किया गया. देश में फिलहाल 45 वर्ष से ज्यादा उम्र के लोगों को सरकारी अस्पतालों में कोरोना का टीका फ्री लगााया जा रहा है. वहीं, प्राइवेट अस्पतालों में इसकी कीमत 250 रुपये प्रति डोज तय की गई है. हालांकि, सरकार ने 18 से अधिक उम्र के लोगों को वैक्सीन के लिए कीमत चुकानी होगी या नहीं इसपर सरकार ने फिलहाल कोई ब्योरा नहीं दिया है. जल्द ही केंद्र की तरफ से कीमतों की घोषणा की जाएगी. इसके अलावा, सरकार ने वैक्सीन खरीद के नियमों को भी आसान किया है, ताकि वैक्सीन की कमी न आ पाए. इसके तहत, राज्यों को अब सीधे वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों से अतिरिक्त डोज लेने का अधिकार दिया गया है. वैक्सीन मैन्युफैक्चरर कंपनी अब अपनी सप्लाई की कुल क्षमता के 50 फीसदी तक स्टॉक को पहले से घोषित कीमतों पर राज्य सरकारों और खुले बाजार में भेज सकेंगे.
2/5
वैक्सीन मैन्युफैक्चरर्स को 4500 करोड़
कोरोना महामारी की बेकाबू दूसरी लहर के बीच देश में वैक्सीनेशन की रफ्तार न रुकने पाए, इसके लिए मोदी सरकार ने अहम फैसला किया है. सरकार ने भारत में वैक्सीन बनाने वाली दो प्रमख कंपनियों सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (SII) और भारत बायोटेक (Bharat Biotech) को दो महीने की सप्लाई क्रेडिट को मंजूरी दे दी है. सूत्रों के मुताबिक, वित्त मंत्रालय ने दोनों कंपनियों को कुल 4 हजार 500 करोड़ रुपये की राशि का भुगतान का फैसला किया है. यह रकम दो महीने के एडवांस भुगतान के रूप में है. मंत्रालय के मुताबिक, पहले Covid-19 के प्रभारी नोडल मंत्रियों के लिए क्रेडिट को मंजूरी दी जाएगी, फिर इसे वैक्सीन उत्पादन करने के लिए दोनों कंपनियों को सौंपी जाएगी. मंत्रालय ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के लिए 3,000 करोड़ रुपये और भारत बायोटेक के लिए 1,500 करोड़ रुपये का क्रेडिट दिया है. माना जा रहा है कि मंत्रालय की ओर से ये फैसला सीरम के सीईओ अदार पूनावाला के सरकार द्वारा Covid-19 वैक्सीन की क्षमता बढ़ाने के लिए 3,000 करोड़ रुपये का अनुदान जारी करने की अपील के कुछ दिनों बाद आया है.
3/5
दवा कंपनियों के साथ बैठक
प्रधानमंत्री मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग केजरिए दवा उद्योग (फार्मास्यूटिकल इंडस्ट्री) के प्रमुखों के 19 अप्रैल को बातचीत की. मौजूदा हालात में फार्मास्यूटिकल इंडस्ट्री के काम की पीएम ने सराहना की. पीएम मोदी ने अनेक जरूरी दवाओं का उत्पादन बढ़ाने के लिए दवा कंपनियों के प्रयासों की तारीफ की. उन्होंने रेमडेसिविर जैसे इंजेक्शन की कीमत घटाने के लिए भी उनकी सराहना की. दवाएं व जरूरी मेडिकल इक्विपमेंट्स की बिना रुकावट सप्लाई जारी रखने के लिए पीएम मोदी ने फार्मा इंडस्ट्री से सप्लाई चेन सुनिश्चित करने का अनुरोध किया. साथ ही उन्होंने लॉजिस्टिक्स और ट्रांसपोर्टेशन जैसी सुविधाओं के लिए सरकार की तरफ से सहायता का भरोसा दिलाया है. उन्होंने इंडस्ट्री से कोविड के साथ भविष्य में हो सकने वाले खतरों पर अधिक से अधिक रिसर्च करने का अनुरोध किया. पीएम ने यह भी कहा कि सरकार नई दवाओं और रेग्युलेटरी प्रॉसेस के लिए सुधार करने जा रही है. बता दें, कोरोना महामारी की चुनौतियों के बावजूद भारतीय फार्मा इंडस्ट्री ने एक्सपोर्ट में 18 फीसदी का इजाफा दर्ज किया है.
4/5
डॉक्टरों के साथ की समीक्षा
कोरोना की दूसरी लहर को काबू पाने की कोशिशों के तहत पीएम मोदी ने सोमवार को देश भर के एक्सपर्ट डॉक्टरों के साथ भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बातचीत की. पीएम ने कोविड19 और वैक्सीनेशन प्रोग्राम के मसले पर डॉक्टरों से बातचीतत की. पीएम मोदी ने बताया कि हाल ही में केंद्र सरकार ने आवश्यक दवाओं की आपूर्ति, इंजेक्शन और ऑक्सीजन की पर्याप्त उपलब्धता से जुड़े कई अहम निर्णय लिए हैं. राज्य सरकारों को इनके बारे में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए हैं. उन्होंने डॉक्टरों से अनुरोध किा कि वे अधिक से अधिक रोगियों को वैक्सीन लगवाने के लिए प्रोत्साहित करें, क्योंकि कोरोनावायरस के खिलाफ लड़ाई में वैक्सीनेशन एक सबसे बड़ा हथियार है. प्रधानमंत्री ने डॉक्टरों से आग्रह किया कि वे कोविड के उपचार और रोकथाम को लेकर उड़ रही अफवाहों के खिलाफ लोगों को जागरूक करें. उचित इलाज के साथ-साथ अस्पतालों में भर्ती मरीजों की काउंसलिंग पर भी जोर दिया जाना चाहिए. इस बातचीत में पीएम का कहना था कि इस बार महामारी टियर 2 और टियर 3 शहरों में भी तेजी से फैल रही है. ऐसे में जरूरी संसोधनों को तेजी से तैयार करना होगा.
5/5