GST Council की 19 सितंबर को होने वाली मीटिंग टली, इस वजह से रखी गई नई तारीख
जीएसटी परिषद की 5 अक्टूबर को होने वाली बैठक काफी अहम होगी, क्योंकि केंद्र और राज्यों के बीच जीएसटी कलेक्शन में 2.35 लाख करोड़ रुपये की कमी के वित्तपोषण के मुद्दे पर विवाद चल रहा है.
पश्चिम बंगाल, केरल, दिल्ली, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और तमिलनाडु ने केंद्र को पत्र लिखकर राज्यों के लोन लेने के ऑप्शन का विरोध किया था. (रॉयटर्स)
पश्चिम बंगाल, केरल, दिल्ली, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और तमिलनाडु ने केंद्र को पत्र लिखकर राज्यों के लोन लेने के ऑप्शन का विरोध किया था. (रॉयटर्स)
कई जरूरी मुद्दों पर इस महीने होने वाली जीएसटी काउंसिल (GST Council) की मीटिंग फिलहाल टाल दी गई है. 19 सितंबर को होने वाली यह मीटिंग अब अगले महीने पांच तारीख यानी 5 अक्टूबर को होगी. पीटीआई की खबर के मुताबिक, सूत्रों ने बताया कि काउंसिल की 42वीं मीटिंग को टाल दिया गया है, क्योंकि उस समय संसद का सत्र चल रहा होगा. केंद्र ने पिछले महीने फैसला किया था कि जीएसटी काउंसिल की 41वीं और 42वीं मीटिंग 27 अगस्त और 19 सितंबर को होगी. हालांकि, उस समय तक संसद के मानसून सत्र पर फैसला नहीं हुआ था.
जीएसटी परिषद की 5 अक्टूबर को होने वाली बैठक काफी अहम होगी, क्योंकि केंद्र और राज्यों के बीच जीएसटी कलेक्शन में 2.35 लाख करोड़ रुपये की कमी के वित्तपोषण के मुद्दे पर विवाद चल रहा है. केंद्र के कैलकुलेशन के मुताबिक, इसमें से 97,000 करोड़ रुपये की कमी जीएसटी (GST) के अमल से जुड़ी है. बाकी 1.38 लाख करोड़ रुपये की कमी राज्यों के रेवेन्यू पर कोविड-19 के असर के चलते है.
केंद्र ने पिछले महीने राज्यों को रिजर्व बैंक की तरफ से मुहैया कराई जाने वाली विशेष सुविधा के जरिये 97,000 करोड़ रुपये का लोन जुटाने या बाजार से 2.35 लाख करोड़ रुपये जुटाने के दो ऑप्शन दिए थे. इसके अलावा केंद्र ने लग्जरी और हानिकारक चीजों पर मुआवजा उपकर को 2022 से आगे बढ़ाने का भी प्रपोजल दिया था, जिससे राज्य लोन का पेमेंट कर सकें.
छह राज्यों- पश्चिम बंगाल, केरल, दिल्ली, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और तमिलनाडु ने केंद्र को पत्र लिखकर राज्यों के लोन लेने के ऑप्शन का विरोध किया था. सूत्रों ने बताया कि 8 सितंबर तक सात राज्य अपनी पसंद के ऑप्शन के बारे में केंद्र को इसकी जानकारी दे चुके हैं.
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गुजरात, बिहार, मध्य प्रदेश, कर्नाटक और त्रिपुरा ने 97,000 करोड़ रुपये का लोन लेने का ऑप्शन चुना है. वहीं सिक्किम और मणिपुर ने दूसरा 2.35 लाख करोड़ रुपये बाजार से जुटाने वाले लोन का ऑप्शन चुना है.
10:51 PM IST